राजकोट : हृदय रोग के खतरे से निपटने का फैसला, नवरात्रि को लेकर सिविल अस्पताल में बनाया गया विशेष वार्ड

सिविल अस्पताल की नई बिल्डिंग में 50 बेड तैयार रखे गए हैं, जिनमें 10 आईसीयू बेड तैनात किए जाएंगे

राजकोट : हृदय रोग के खतरे से निपटने का फैसला, नवरात्रि को लेकर सिविल अस्पताल में बनाया गया विशेष वार्ड

राजकोट सहित पूरे गुजरात में युवाओं में हृदय रोग की दर बढ़ रही है, खासकर नवरात्रि के दौरान यह खतरा बढ़ने की संभावना है। इसे देखते हुए राजकोट के सिविल अस्पताल में नवरात्रि पर्व पर हृदय रोग के लिए विशेष वार्ड बनाया गया है। हृदय रोग के मरीजों के इलाज के लिए राजकोट सिविल अस्पताल में एक विशेष वार्ड स्थापित किया गया है। राजकोट सिविल अस्पताल के अधीक्षक आरएस त्रिवेदी ने टीवी9 से बातचीत में कहा कि राजकोट सिविल अस्पताल में नवरात्रि के नौ दिनों के दौरान एक विशेष वार्ड स्थापित किया जाएगा।

सिविल अस्पताल की नई बिल्डिंग में 50 बेड तैयार रखे गए हैं, जिनमें 10 आईसीयू बेड तैनात किए जाएंगे। इसके अलावा हृदय रोग विशेषज्ञ, मेडिकल स्टाफ और नर्सिंग स्टाफ की तैनाती की जाएगी। सिविल अस्पताल प्रशासन द्वारा एक हेल्पलाइन नंबर की भी घोषणा की जाएगी। सिविल अस्पताल प्रशासन द्वारा 10 एम्बुलेंस भी तैनात की जाएंगी।

खेलैया को क्या सावधानियां बरतनी चाहिए?

सिविल अधीक्षक ने खेलैया से अपील की है कि गरबा खेलते समय विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। खेलैया को समय-समय पर आराम करना चाहिए। गरबा खेलते समय अन्य पेय पदार्थ पीने की बजाय नींबू पानी पीने पर जोर देना चाहिए, अगर घबराहट हो या सीने में दर्द हो तो तुरंत नजदीकी अस्पताल से संपर्क करना चाहिए।

सिविल में कैसे होगा इलाज?

सिविल अस्पताल में जब भी कोई मरीज आएगा तो तुरंत उसका कार्डियोग्राम लिया जाएगा। इसकी जांच इमरजेंसी वार्ड में की जायेगी। अगर उन्हें सामान्य दर्द है तो काउंसिलर उन्हें समझाएंगे और दवा देंगे। ज्यादा गंभीर होने पर कार्डियोग्राम वार्ड में भर्ती करने और वहां से एंजियोग्राफी तक इलाज किया जाएगा।

राजकोट में 48 घंटे में 6 युवाओं की हृदय रोग से मौत हो गई

युवाओं में हृदय रोग के मामले बढ़ रहे हैं। राजकोट में पिछले 48 घंटों में दिल की बीमारी से 6 युवाओं की मौत हो गई है। ऐसे मामले भी सामने आये हैं, जिसमें कभी गरबा खेलते समय तो कभी क्रिकेट खेलते समय युवाओं की मौत हो जाती है। ऐसी व्यवस्था बनाई गई है कि यदि कोई युवा व्यक्ति नवरात्र के दौरान हृदय रोग से पीड़ित होता है तो उसे तुरंत इलाज दिया जा सके।

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