सूरत : पालनपुर नहर पर विसर्जन के दौरान गौरी गणेश की प्रतिमाएं अर्धविसर्जित रही

पुलिस आयुक्त की अधिसूचना का उल्लंघन कर अवैध रूप से नहर में विसर्जन किया गया

सूरत : पालनपुर नहर पर विसर्जन के दौरान गौरी गणेश की प्रतिमाएं अर्धविसर्जित रही

सूरत में घर-घर में गणपति की स्थापना की गई है। गौरी गणेश का पांचवे दिन विसर्जन किया जाता है।  भगवान गणेश की छोटी मूर्ति को कृत्रिम झील में विसर्जित करने की व्यवस्था प्रशासन द्वारा कि गई। लेकिन कई लोगों ने नहर के कम पानी में भी गणपति की मूर्ति का अवैध रूप से विसर्जन किया। जिससे कई प्रतिमाएं नहर के कम पानी में अर्धविसर्जित नजर आईं। इसलिए मूर्तियों को एकत्र किया गया और तंत्र द्वारा उचित तरीके से पुन: विसर्जन किया गया।

गणेश उत्सव समिति के अध्यक्ष ने बताया कि श्रीजी की प्रतिमा का विसर्जन पनालपुर क्रॉस कैनाल रोड संकल्प सोसायटी के पास नहर में किया गया। इसकी जानकारी मिलते ही वह मौके पर पहुंचे। गणेश जी की प्रतिमाएं भाव विभोर अवस्था में नजर आईं। अत: उन्होंने उपजिलाधिकारी को सूचित कर एक टीम भेजकर मूर्तियों को पुनः उचित स्थान पर रखवा दिया।

नहरों या तालाबों समेत सार्वजनिक स्थानों पर पानी नहीं बहाने की व्यवस्था में रोक लगायी गयी है। हालाँकि, लोगों के लिए अपनी अज्ञानता दिखाने के लिए इस तरह से भगवान की मूर्ति का अपमान करना सही नहीं है। जिस भगवान को इस प्रकार विघटित करके घर में रखा गया है, उनकी ऐसी स्थिति करना उचित नहीं है। अगर लोग अब भी नहीं समझे तो आने वाले दिनों में सख्त कार्रवाई की जाएगी।

उन्होंने आगे कहा कि नहर में हर साल छोड़ी जा रही मूर्तियों को लेकर हम पहले ही याचिका दायर कर चुके हैं। इसमें इस मुद्दे का भी गंभीरता से जिक्र किया गया। गणेश उत्सव के दौरान शहर की विभिन्न नहरों पर पुलिस की व्यवस्था करने की भी मांग की गयी। लेकिन लगातार समन्वय के अभाव के कारण नहरों पर कोई सुरक्षा व्यवस्था नहीं की गयी है, जिससे घोषणा पत्र का उल्लंघन हो रहा है।

सूरत शहर गणेश उत्सव समिति के अध्यक्ष अनिल बिस्किटवाला ने कहा कि गणेश उत्सव को लेकर पुलिस आयुक्त और जिला कलेक्टर के साथ समन्वय बैठक करना जरूरी था। लेकिन प्रशासन की ओर से कोई गंभीरता नहीं दिखायी गयी और कोई समन्वय बैठक नहीं की गयी। जिसके कारण इस प्रकार की स्थिति उत्पन्न हो रही है।

Tags: Surat