वडोदराः कोरोना से माता-पिता को खोने वाले बच्चों के लिए सरकार की योजना रीढ़ समान

वडोदराः कोरोना से माता-पिता को खोने वाले बच्चों के लिए सरकार की योजना रीढ़ समान

मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के लाभ से बढ़ा साहस, बहन को पढ़ाकर बनाऊंगा डॉक्टरः तेजसभाई

कोरोना महामारी में कई लोगों ने अपनों को खोया है। इस विकट स्थिति में, राज्य सरकार ने रुपये प्रदान करके एक संवेदनशील दृष्टिकोण दिखाया है। बाल सेवा योजना के तहत  4000 मासिक सहायता की घोषणा की गई है। तब इस योजना के लाभार्थियों का साहस बढ़ेगा और उज्जवल भविष्य के सपनों को नई ऊंचाई मिलेगी।
वडोदरा के वाघोड़िया चौकड़ी के पास रहने वाले 23 वर्षीय तेजशभाई भाभोर ने 2014 में कैंसर के कारण अपने पिता को खो दिया था। कोरोना महामारी में एक बार फिर उनकी मां पल्लवीबेन का कोरोना से निधन हो गया। माता-पिता की छत्रछाया  खो देने वाले तेजसभाई की 10 वर्ष की एक बहन भी है।  ऐसे में तेजसभाई पर पारिवारिक और सामाजिक जिम्मेदारी आ गई है।
संघर्ष के इस समय के बारे में बोलते हुए तेजसभाई कहते हैं, माता-पिता को खोने का गम किसे नहीं होता? लेकिन राज्य सरकार की मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना ने साहस के साथ उज्जवल भविष्य के सपनों को नई गति दी है। मेरी बहन तन्वी 10 साल की है, अब राज्य सरकार की इस योजना के लाभ से उसे पढ़ाई के लिए किसी भी तरह की आर्थिक तंगी का सामना नहीं करना पड़ता है। मेरा सपना उसे बहुत कुछ सिखाकर डॉक्टर बनाना है। फिलहाल मैं एमबीए की पढ़ाई भी कर रहा हूं। इस प्रकार, सरकार सचमुच उन हजारों बच्चों की रीढ़ बन गई है, जिन्होंने कोरोना काल में हम जैसे माता-पिता की छत्रछाया खो दी है।
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