राजकोट : चरित्र पर संदेह रख गर्भवती पत्नी को मौत के घाट उतारने वाले पुलिस अधिकारी को आजीवन कारावास

राजकोट : चरित्र पर संदेह रख गर्भवती पत्नी को मौत के घाट उतारने वाले पुलिस अधिकारी को आजीवन कारावास

पत्नी के मायके से आने के बाद हुआ था अफेयर होने का शक

राजकोट के सत्र अदालत ने शनिवार को एक पुलिस उप-निरीक्षक (पीएसआई) हिरेन परमार (44) को 2013 में अपनी सर्विस रिवॉल्वर से  अपनी गर्भवती पत्नी को मारने के आरोप में आजीवन कारावास की सजा सुनाई।  इसके साथ साथ अदालत ने परमार पर दस हज़ार का जुर्माना भी लगाया। अदालत ने मुख्य आरोपी परमार के अलावा परिवार के सदस्यों को भी इस जुर्म में साझा मानते हुए उन्हें भी सज़ा सुनाई है। 
दो माह की गर्भवती थी पत्नी
टाइम्स ऑफ इंडिया के रिपोर्ट के अनुसार, परमार को संदेह था कि उसकी दो माह की गर्भवती पत्नी रश्मी (27) का किसी और के साथ नाजायज संबंध था। इसी आशंका में ये दुर्घटना हुई। ये आपराधिक मामला उस समय घटित हुआ जब रश्मि अपने माता-पिता के घर से लौटके वापस आई हुई थी। रामनाथपारा पुलिस लाइन में रहने वाले परमार 23 जनवरी 2013 को अपने पत्नी को घर के अंदर लॉक करके अपने काम पर चला गया। जब परमार काम से लौटा तो उसकी अपनी पत्नी के साथ एक जोरदार बहस हुई और इसी बीच उसने अपनी सर्विस रिवाल्वर से अपनी पत्नी रश्मि को गोली मार दी। 
इस मामले मरण सार्वजनिक अभियोजक चेतन काचिया ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि अदालत ने अभियोजन पक्ष के तर्कों और प्रमाणों को देखते हुए परमर को दोषी पाया और उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई।"
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