सूरत : प्रसादी के नाम पर ड्रायफ्रुट के व्यापारी से ठगी करने वाले गिरफ्तार

सूरत  : प्रसादी के नाम पर ड्रायफ्रुट के व्यापारी से ठगी करने वाले गिरफ्तार

सूरत समेत मुंबई में कई लोगों के साथ ठगी करने वाले गैंग में बुजुर्ग और एक महिला को गिरफ्तार किया गया

गिरोह ने सूरत और मुंबई में अधिक अपराध किए, बुजुर्ग और औरतअपने  साथ बच्चे को रखकर धोखाधडी करते थे 
सूरत में खाटोदरा पुलिस की एक टीम ने मुंबई और सूरत में लोगों को ठगने वाले ठाणे से मुंबई के एक गिरोह को पकड़ा। बुजुर्ग और महिला गैंग बड़े ही व्यंग्यात्मक होते हैं। जिसमें एक बूढ़ा और एक महिला अपने बच्चे के साथ धोखा कर रहे थे। पुलिस ने गिरोह की जांच शुरू कर दी है। उल्लेखनीय है कि कुछ दिन पहले उसने रुपये की ठगी की थी।
सूरत के अलथान क्षेत्र में विवेकानंद गार्डन के पास ड्राई फ्रूट बाजार नामक दुकान में एक वृद्ध व अधेड़ महिला ने खुद को जलाराम मंडल वीरपुर की मुखिया बताया। बिना भुगतान किए 79,000 रुपये का सामान खरीदने पर खटोदरा पुलिस में धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है। दोनों ने दुकानदार हितेश बाबूलाल सकलेचा स्वयं जलाराम मंडल वीरपुर के मुखिया हैं और उनका प्रधान कार्यालय महाराष्ट्र के ठाणे में सांईधाम सोसाइटी के रामचंद नगर में है। प्रसाद के रूप में सूखे मेवे बांटने जा रहे हैं, इसलिए उन्हें सूखे मेवों की ज्यादा जरूरत है। 79 हजार सूखे मेवे पैक कर दुकान के सामने खड़ी टैक्सी पार्सिंग के एमएच-04जेयू-7288 में रखे गए।
भुगतान के लिए जलाराम मंडल के बदले व्यक्तिगत खाता चेक देने वाले दुकानदार ने स्वीकार नहीं किया और नकद भुगतान करने को कहा। तो बुजुर्ग ने यह कहकर गाड़ी में सवार हो गया कि मैं गाड़ी से पैसे ला रहा हूँ। दुकान के कर्मचारियों ने मोपेड पर कार का पीछा किया लेकिन वे भागने में सफल रहे। बुजुर्ग द्वारा दिए गए मोबाइल नंबर पर दुकानदार हितेश ने कॉल करने पर दस मिनट में आ रहा हूं मैं भटार दीपक किराना स्टोर के पास खड़ा हूं। खटोदरा पुलिस ने सीसीटीवी के आधार पर मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। जिस वाहन में वे पहुंचे, उसके आधार पर सूरत की खाटोदरा पुलिस ने मुंबई के ठाणे के सीसीटीवी में दिख रहे एक बुजुर्ग व्यक्ति को बच्चे के साथ चलते हुए टैक्सी चालक और मुख्य गिरोह दिखा। फिलहाल खटोदरा थाने से ठगी करने वाले गिरोह को पकड़कर सूरत लाया गया है।
खटोदरा पुलिस की जांच में सामने आया है कि इस गिरोह ने सूरत समेत मुंबई में सबसे ज्यादा अपराध किए हैं। वे इलेक्ट्रॉनिक दुकान, किराने की दुकान, मोबाइल की दुकान या यहां तक ​​कि मुंबई शहर के अलग-अलग हिस्सों में दुकान के अंदर एक संगठन के नाम पर चिटिंग कर रहे थे और फिर वे जो सामान ले जा रहे थे उसे तुरंत बेच देंते और नकद जमा कर लेते थे। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि मुख्य सूत्रधार एक महिला है जिसके साथ एक बुजुर्ग व्यक्ति और एक टैक्सी चालक के साथ-साथ छोटे बच्चे भी थे। ताकि दुकानदार या व्यापारी को इस बात का अहसास न हो कि ये लोग ठगी कर रहे हैं। संगठन के नाम पर भावनात्मक रूप से कुछ न कुछ कीमती सामान लेकर गायब हो रहे थे। आरोपियों के नाम गोकुलदास कृष्णदास अडिया (बुजुर्ग), सिद्धिका दीपक राहु (महिला) विकास विलास कदम (चालक) को गिरफ्तार किया गया है। 
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