
पहल : पांडेसरा जीआईडीसी में चिल्ड्रन डे केयर सेंटर शुरू, पहले ही दिन 52 बच्चे दर्ज
By Loktej
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इंडस्ट्रीयल इलाकों में बच्चों के साथ होने वाली अघटित घटनाओं को रोकने पुलिस-उद्यमियों का संयुक्त आयोजन
पिछले कुछ समय में शहर के इंडस्ट्रीयल इलाके में रहने वाले बच्चों के साथ अघटित घटनाएं घटी है। ऐसे वारदातों को रोकने और बच्चों का रचनात्मक प्रवृत्ति की ओर झुकाव करने के लिए पांडेसरा पुलिस और पांडेसरा इंडस्ट्रीयल सोसायटी के संयुक्त तत्वावधान में जीआईडीसी में कार्यरत उद्योग भारती स्कूल में चिल्ड्रन डे केयर सेंटर शुरू किया गया है। इसका पुलिस आयुक्त अजय तोमर की उपस्थिति में उद्घाटन किया गया। पहले ही दिन 52 बच्चे सेंटर में दर्ज किए गए।
पिछले कई समय से छोटे बच्चों के साथ अपराधिक वारदातें सामने आयी है। इंडस्ट्रीयल विस्तार में कई घरों में माता-पिता काम पर जाने से बच्चों पर घर में ध्यान रखने वाला कोई नहीं होता। ऐसे बच्चों के साथ अघटित घटना नहीं घटे इसलिए पांडेसरा इंडस्ट्रीयल सोसायटी और केलवणी मंडल द्वारा संचालित उद्योग भारती विद्यालय में चिल्ड्रन डे केयर सेंटर तैयार किया गया है। जिसका शुक्रवार को उद्घाटन किया गया। इस संदर्भ मे जानकारी देते हुए एसजीटीपीए के प्रमुख जीतेंद्र वखारिया ने बताया कि पुलिस और स्कूल टीम दोनों मिलकर इस डे केयर सेंटर का संचालन करेंगे। जिसमें बच्चों को 3 टाइम नाश्ता और खाने की व्यवस्था सहित उन्हें रचनात्मक प्रवृत्ति सीखायी जाएगी। इसके अलावा इंडस्ट्रीयल इलाके में रहने वाले और उद्योग पर निर्भर लोगों के लिए भी खेलकूद के साधन मुहैया करवाएं गए है।
पांडेसरा सोसायटी के प्रमुख कमल तुलस्यान ने बताया कि उत्साह का माहौल बना रहे इसलिए रस्सीखेंच और केरम प्रतियोगिता का भी शुक्रवार को आयोजन किया गया। इस डे केयर सेंटर के पीछे का पूरा खर्च उद्योग उठाएगा। जिसमें बच्चों को सुबह 8 से रात 8 बजे तक रखने का आयोजन किया गया है। डे केयर सेंटर के बारे में जानकारी देते हुए एसीपी पंड्या ने बताया कि पूर्व में सचिन जीआईडीसी ें भी डे केयर सेंटर शुरू किया गया था। जिसमें 30 बच्चों की देखभाल की जा रही है। वहीं पांडेसरा में शुक्रवार से शुरू हुए सेंटर में पहले ही दिन 52 बच्चे दर्ज हुए। पुलिस और उद्योग की टीम के साथ-साथ कॉलेज में पढऩे वाली 2 छात्रों को भी सहायता मिले इसलिए डे केयर सेंटर में बच्चों को पढ़ाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
अपराध घटे और रचनात्मक प्रवृत्ति का मुख्य उद्देश्य : अजय तोमर
पुलिस आयुक्त अजय तोमर ने कहा कि डे केयर सेंटर शुरू करने के पीछे का उद्देश्य बच्चों की सुरक्षा है। जिनके माता-पिता दोनों काम पर जाते है और उनका ध्यान रखने वाला कोई नहीं है। जीआईडीसी एसोसिएशन के मदद से ऐसे सेंटर शुरू किए जा रहे है। अपराध करने वालों को सजा तो मिलती ही है। अपराध घटे इसलिए पुलिस सक्रिय है लेकिन मुख्य हेतु लोग खाली बैठकर अपराधिक प्रवृत्ति की ओर रूख करे इसके बजाय रचनात्मक प्रवृत्ति की ओर मोडऩे का प्रयास है।
पांडेसरा पुलिस ने 5 माह में 70 लापता बच्चों को खोज निकाला
पांडेसरा पुलिस ने बताया कि परप्रांतीय लोग रोजगार के लिए सूरत आते है। कई घरों में माता-पिता काम पर जाते है और बच्चे अकेले रहते है। ऐसे में बच्चों के लापता होने के किस्से पुलिस थाने में दर्ज होते है। पुलिस ऐसे घटनाओं में मामलों को गंभीरता से लेकर जांच करके बच्चों को खोजती है। जुलाई यानि पांच माह में पांडेसरा पुलिस ने 1 से 10 साल के लापता हुए 70 बच्चों को खोजकर उनके माता-पिता से मिलाया है।
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