शाबाश सूरत पुलिस; पांच सदस्यों वाला परिवार नदी में छलांग लगाने ही वाला था कि PCR वैन पहुंच गई!

कमजोर हालात और बड़े पुत्र के खराब स्वास्थ्य से परेशान होकर किया आत्महत्या का निर्णय, कमिश्नर ने दिया कर्मियों को ईनाम

कोरोना के बाद से आत्महत्या के केसों में जमकर इजाफा हुआ है। आए दिन कोरोना के डर से या आर्थिक परेशानी से कई लोगों ने आत्महत्या करने के किस्से सामने आते रहे है। ऐसे में सूरत में से कमजोर आर्थिक परिस्थिति के कारण परिवार सहित सामूहिक आत्महत्या करने जा रहे एक परिवार को सूरत पुलिस की टीम ने बचा लिया था। 
विस्तृत जानकारी के अनुसार, मंगलवार को दोपहर में पुलिस कंट्रोल रूम में एक फोन आया था, जिसमें एक व्यक्ति ने कहा की वह अब अपने जीवन से परेशान हो चुका है, इसलिए वह अपने परिवार सहित कॉज़वे में कूद कर अपनी जान देने जा रहा है। कॉल मिलते ही कंट्रोल रूम ने कॉल चोकबाजार पुलिस को कॉल पास किया था। इसके बाद इंस्पेक्टर ए ए चौधरी ने अपने ग्रुप में मेसेज भेज कर कॉज़वे की सबसे नजदीक की PCR वैन को वहाँ पहुँचने के लिए कहा था। 
परिवार की खराब आर्थिक परिस्थिति ने किया आत्महत्या करने पर मजबूर
पूरे परिवार को मृत्यु से बचाने के लिए मात्र तीन मिनट में PCR कॉज़वे पहुँच गई थी और ताप्ती में कूदने जा रहे दंपत्ति और तीनों संतानों को समजाकर पुलिस स्टेशन लेकर आई थी। आपको बता दे कि सभी पुत्री में सबसे बड़े पुत्र की उम्र भी मात्र नौ वर्ष थी। पुलिस इंस्पेक्टर ने दंपत्ति की पूछताछ करते हुए 36 वर्षीय पुरुष ने कहा की वह सलाबतपूरा के इंदरपूरा में रहते है। आए दिन उनमें कोई न कोई बात को लेकर बहस होती रहती थी। इसके अलावा बड़े पुत्र की खराब तबीयत और कमजोर आर्थिक परिस्थिति जैसे कारणों से वह सबको लेकर कॉज़वे पहुंचा था। 
कमिश्नर ने जान बचाने वाले कर्मियों को सराहा
पुलिस ने मामले की गंभीरता को समजते हुए पहले तो दोनों के बीच के झगड़े का अंत कैसे शांत किया जाए, उसे समजाया था। इसके अलावा बड़े पुत्र की खराब तबीयत के लिए भी उन्हें उचित मार्गदर्शन दिया था। दंपत्ति के घर में सुख-शांति रहे इस तरह के सभी प्रयास कर पुलिस ने उन्हें विदा किया था। इसके अलावा परिवार की जान बचाने वाले पुलिसकर्मियों को भी पुलिस कमिश्नर ने इनाम देकर सराहा था। 
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