कन्हैया कुमार और जिग्नेश मेवानी कांग्रेस से जुड़े, शुरू की नई राजनैतिक पारी

कन्हैया कुमार और जिग्नेश मेवानी कांग्रेस से जुड़े, शुरू की नई राजनैतिक पारी

कन्हैया को बिहार में और जिग्नेश को गुजरात में बड़ा पद मिलने की संभावना

जेएनयू के पूर्व अध्यक्ष और भाकपा नेता कन्हैया कुमार और गुजरात से निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी आज कांग्रेस में शामिल हो गए। दोनों युवा नेताओं ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की मौजूदगी में अपनी नई राजनीतिक पारी की शुरुआत की है। इससे पहले राहुल गांधी के साथ शहीद-ए-आजम भगत सिंह पार्क में कन्हैया कुमार और जिग्नेश मेवानी भी थे। दोनों युवा नेता के अब तक की राजनैतिक करियर कुछ ऐसा रहा है।
कन्हैया कुमार 
कन्हैया कुमार बिहार के बेगूसराय जिले के रहने वाले हैं। 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने बेगूसराय लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा था। कन्हैया भाजपा नेता गिरिराज सिंह से 4 लाख वोट के भारी अंतर से हार गए। माना जाता है कि बेगूसराय में भूमिहार मतदाताओं की संख्या सबसे अधिक है और कन्हैया कुमार भी भूमिहार जाति के हैं। इसलिए वह खुद को साबित करने में नाकाम रहे। 
इसके बावजूद पार्टी का मानना ​​है कि बिहार को एक नए चेहरे की जरूरत है, एक छात्र नेता के रूप में उनके पास संगठनात्मक अनुभव है। बिहार कांग्रेस के नेताओं का कहना है कि कन्हैया के आने से पार्टी को फायदा होगा क्योंकि कन्हैया उन्हीं मुद्दों और लड़ाई लड़ रहे हैं जो कांग्रेस उठा रही है।
जिग्नेश मेवानी 
हार्दिक पटेल, अल्पेश ठाकोर और जिग्नेश मेवानी की तिकड़ी ने 2017 के चुनाव में अहम भूमिका निभाई थी। हार्दिक पटेल कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। वहीं अल्पेश ठाकोर भाजपा में शामिल हो गए। लेकिन जिग्नेश मेवानी ने कभी समझौता नहीं किया और वह लगातार बीजेपी से लड़ रहे हैं। गुजरात में 7% दलित हैं और 13 सीटें उनके लिए आरक्षित हैं। बीजेपी ने पिछले चुनाव में सबसे ज्यादा आरक्षित सीटों पर जीत हासिल की थी। उस समय जिग्नेश मेवानी अपनी सीट तक ही सीमित थे और कांग्रेस ने उनके खिलाफ उम्मीदवार नहीं उतारा था। ऐसे में मेवानी का कांग्रेस में आना तस्वीर बदल सकता है।
कांग्रेस में कन्हैया और जिग्नेश की क्या भूमिका होगी, इसे लेकर तस्वीर साफ नहीं है। लेकिन पता चला है कि दोनों युवा नेता देश भर के युवाओं को कांग्रेस में शामिल करने और मोदी सरकार के खिलाफ आंदोलन करने के लिए अभियान चला सकते हैं। चर्चा यह भी है कि कांग्रेस बिहार में कन्हैया और गुजरात में जिग्नेश को बड़ा पद दे सकती है। इसी रणनीति के तहत आने वाले दिनों में कुछ और युवा नेता कांग्रेस में शामिल होंगे। 
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