सूरत :  पेपर लीक मामले में आप और एनएसयूआई द्वारा सरकार को घेरने की कोशिश

सूरत :  पेपर लीक मामले में आप और एनएसयूआई द्वारा सरकार को घेरने की कोशिश

पेपर लीक कांड में जिला कलेक्टर को ज्ञापन देकर विधानसभा में स्पष्टीकरण की मांग की गई

प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक के मामले लगातार देखने को मिल रहे है। हर बार पेपर लीक हो जाता है। सरकार का एक ही जवाब है कि हम जांच कमेटी बनाएंगे। जो भी दोषी है हम इसके खिलाफ कार्रवाई करेंगे। लेकिन, अहम बात यह है कि सरकार बार-बार हो रही घटनाओं को रोकने में नाकाम क्यों हो रही है।

राजनीतिक दलों की याचिका

जूनियर क्लर्क के परीक्षा से पूर्व पेपर फुटने के मामले में आम आदमी पार्टी व एनएसयूआई ने सोमवार को कलेक्टर के समक्ष परिवाद पेश किया। जिसमें उन्होंने क हा कि जो भी दोषी है उन्हें सजा मिलनी चाहिए। साफ है कि सरकार लगातार हो रहे पेपर लीक की घटनाओं को रोकना नहीं चाहती है। यह भी आरोप लगाया जा रहा है कि सरकार छात्रों के साथ अन्याय कर रही है।

लाखों छात्रों का भरोसा तोड़ा: आप

आम आदमी पार्टी ने जिलाधिकारी को याचिका सौंपकर सेवानिवृत जज की अध्यक्षता में जांच कमेटी गठित करने की मांग की है। अब तक सारे पेपर फु ट चुके हैं उन सबकी गहराई से जांच होनी चाहिए। इतना ही नहीं, सरकार के पास अपना प्रिंटिंग प्रेस होते हुए भी निजी प्रेसों में पेपर क्यों छप रहे हैं? यह स्पष्ट किया जाए कि विधानसभा सत्र के भीतर भी पेपर लीक के मुद्दे पर अलग प्रावधान लाने का प्रयास किया जाए।

सरकार ने छात्रों के साथ किया अन्याय: एनएसयूआई

सूरत शहर एनएसयूआई के महासचिव मितेश हाडिया ने कहा कि सरकार ने नौ लाख से ज्यादा छात्रों के साथ गलत किया है। भरोसे की सरकार के नारे पर चल रही भाजपा पार्टी ने जनता और छात्रों के भरोसे को तोड़ा है। कई आदिवासी लड़के और गरीब और मध्यम वर्ग के छात्रों ने पैसे खर्च कर परीक्षा की तैयारी की। ऐसे कई छात्रों के हजारों रुपये की चपत लग चुकी है। सरकार को उसका भी मुआवजा देना चाहिए और पेपर लीक कार्ड में अपनी नाकामी स्वीकार करनी चाहिए।

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