वडोदरा : कच्छ के युवक का यूपीएससी में हुआ चयन, बनना चाहता है आईएएस

वडोदरा : कच्छ के युवक का यूपीएससी में हुआ चयन, बनना चाहता है आईएएस

मांडवी तालुका के विंगाडिय़ा गांव के युवक जयवीर गढ़वी ने जीपीएससी में पूरे राज्य में टॉप करने के बाद अब यूपीएससी की सिविल सेवा परीक्षा पास कर ली है

संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) का फाइनल रिजल्ट घोषित कर दिया गया है। यूपीएससी के घोषित परिणाम में जहां श्रुति शर्मा ने पहला स्थान हासिल किया है। वहीं गुजरात के युवा भी पास हुए हैं। कच्छ के मांडवी तालुका के विंगडिय़ा गांव के एक युवक जयवीर गढ़वी ने जीपीएससी में पूरे राज्य में टॉप करने के बाद अब यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा पास कर ली है। जयवीर ने 25 साल की उम्र में अखिल भारतीय रैंक 341 हासिल की है। गढ़वी आईएएस ऑफिसर बनना चाहते हैं।
जयवीर गढ़वी वर्तमान में वडोदरा जिले में डिप्टी कलेक्टर के पद पर कार्यरत हैं। अपने गांव के प्राथमिक विद्यालय से कक्षा 1 से 5 तक की पढ़ाई करने के बाद, उन्होंने कच्छ के नवोदय विद्यालय में कक्षा 6 से 10 तक की पढ़ाई की। उन्होंने राजकोट में कक्षा 11 और 12 विज्ञान की पढ़ाई की। जिसमें उसने बहुत अच्छे अंकों के कारण सूरत के एसवीएनआईटी में प्रवेश लिया। उन्होंने एसवीएनआईटी से मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिग्री हासिल की है।
मिली जानकारी के मुताबिक एनआईटी में पढ़ते हुए जयवीर को एक अमेरिकी कंपनी में प्लेसमेंट मिल गया। उन्होंने जयपुर में इस कंपनी में केवल 10 महीने काम किया। जयवीर कहते हैं, निजी नौकरी के दौरान मुझे लगा कि सारा दिन कंप्यूटर के सामने बैठने का मेरा इरादा नहीं था। मुझे देश की सेवा के लिए कुछ ऐसा करना है जिससे मुझे संतुष्टि मिले और प्रभावी परिणाम भी मिले।
 जयवीर ने कहा, मैं इस फील्ड में यह सोचकर आया था कि मुझे देश के लिए कुछ करना है। मेरे जीवन में कई ऐसी घटनाएं हुई हैं जिसके बाद मुझे सिविल सर्विस करने की प्रेरणा मिली। इसके साथ ही कच्छ में भूकंप आने पर मेरे स्कूल के शिक्षकों ने भी मुझे प्रेरित किया।
उन्होंने कहा, मेरे पिताजी के पास एक ऑटो था, जिस पर वह फेरी लगाते थे। गांवों में आम लोगों की तरह हमारी भी यही स्थिति थी। मुझे लगता है कि मेरी मेहनत रंग लाई है। कोरोना की पहली और दूसरी लहर के दौरान नई दिल्ली से लोग पलायन कर रहे थे। तब भी जयवीर अपने कमरे में  था और केवल कोचिंग और पढऩे पर ध्यान केंद्रित कर रहा था। जिससे वे इस मुकाम तक पहुंच पाएं हैं। उन्होंने दूसरे प्रयास में यूपीएससी की परीक्षा पास की है और उनका मुख्य विषय गुजराती साहित्य था।
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