सूरत : कोरोना के बाद पहली बार रथयात्रा में भगवान के स्वागत के लिए भक्त उत्साही

सूरत : कोरोना के बाद पहली बार रथयात्रा में भगवान के स्वागत के लिए भक्त उत्साही

शहर में विभिन्न क्षेत्रों में पांच जगहों से शुरू होगी भगवान जगन्नाथजी की रथयात्रा

2200 से अधिक पुलिस कर्मियों को तैनात किया जाएगा
कोरोना काल के बाद पहली बार सूरत में रथ यात्रा का आयोजन किया जा रहा है। शहर में पांच जगहों पर रथयात्राएं होती हैं। तब भक्तों के बीच अनेरो थंगनाट भगवान के स्वागत के लिए नजर आते हैं। मंदिरों की ओर से रथयात्रा की पूरी तैयारी को अंतिम रूप दिया जा रहा है। इस्कॉन मंदिर में भगवान जगन्नाथ का वाघा वृंदावन से आया है। सुरक्षा के लिए पुलिस, एसआरपी, होमगार्ड समेत 2200 से ज्यादा जवानों को तैनात किया जाएगा।
हर साल की तरह इस साल भी भगवान का वाघा वृंदावन से आया है। शांतिपूर्ण संपन्न होगी रथयात्रा। 1 जुलाई को अषाढी दुज के दिन रथ यात्रा है। कोरोना काल के बाद भव्य शोभायात्रा की योजना है। भक्तों में खासा उत्साह है। सूरत में इस्कॉन मंदिर द्वारा भी रथयात्रा का आयोजन किया गया है। सभी तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है। भगवान जगन्नाथ का भव्य रथ भी बनाया गया है साथ ही वृंदावन से भगवान जगन्नाथ का वाघा भी बनाया गया है। इसके अलावा जगन्नाथ यात्रा को लेकर पुलिस आयुक्त की अध्यक्षता में विभिन्न मंदिरों के संतों और मुस्लिम नेताओं के साथ बैठक की गई। शांतिपूर्ण माहौल में यात्रा पूरी करने की अपील की गई।
रथ यात्रा से पहले पुलिस की ओर से सुरक्षा के भी इंतजाम किए गए हैं। जुलूस की सुरक्षा के लिए आठ डीसीपी, 14 एसीपी, 40 पीआई, 2200 पुलिस कर्मी, 1000 होमगार्ड, चार कंपनी एसआरपी और टीआरबी के जवानों को लगाया गया है। संवेदनशील क्षेत्र में पुलिस दो ड्रोन के साथ-साथ त्वरित प्रतिक्रिया के लिए बनाए गए एक क्यूआरटी और एक वज्र वाहन द्वारा हवाई दृश्य की निगरानी करेगी।
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