झटके पर झटके; सूरत के लोकल चेहरे डॉक्टर रविंद्र पाटील ने कांग्रेस छोड़ी, भाजपा में घर वापसी की तैयारी

झटके पर झटके; सूरत के लोकल चेहरे डॉक्टर रविंद्र पाटील ने कांग्रेस छोड़ी, भाजपा में घर वापसी की तैयारी

गुजरात में विधानसभा चुनाव की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। अगले कुछ महीनों में चुनाव होने हैं और राजनीतिक पार्टियां अपने अपने तरीके से रणनीति बनाने में जुट गई है। लेकिन ऐसा प्रतीत हो रहा है कि प्रदेश के मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने अपनी पिछली हारों और चुनावों में खराब प्रदर्शन से कोई सबक नहीं लिया है। कांग्रेस के नेता विगत कुछ वर्षों में एक के बाद एक पार्टी छोड़ते जा रहे हैं और यह सिलसिला अभी जारी है। पता नहीं क्यों कांग्रेस आलाकमान इन सब घटनाक्रमों पर आंखें मूंदे रहता है और पार्टी दिन प्रतिदिन कमजोर होती जाती है।
अब सूरत से खबर आ रही है कि यहां के लोकल चेहरे और महाराष्ट्र समुदाय में बड़ा नाम कहे जाने वाले डॉक्टर रविंद्र पाटील ने कांग्रेस को अलविदा कह दिया है। डॉक्टर पाटिल ने सूरत शहर कांग्रेस अध्यक्ष ने नैषध देसाई को अपना इस्तीफा सौंप दिया है। आपको बता दें कि रविंद्र पाटील गुजरात प्रदेश कांग्रेस के सह मंत्री और नवसारी लोकसभा के प्रभारी थे। अब उनके कांग्रेस को छोड़ने से सूरत शहर और नवसारी लोकसभा क्षेत्र में अवश्य ही कांग्रेस को भारी झटका लगेगा।
सूरत शहर कांग्रेस अध्यक्ष नैषध देसाई को अपना त्यागपत्र सौंपते हुए डॉ. रविन्द्र पाटिल।
डॉक्टर रविंद्र पाटील का सक्रिय राजनीति से बहुत पुराना नाता है। वह सूरत के लिंबायत वार्ड में पार्षद रह चुके हैं। 2017 तक के लगातार 20 सालों तक भाजपा के पार्षद रहे। वह सूरत के उप महापौर के अलावा अलग-अलग पालिका कमेटियों के चेयरमैन भी रह चुके हैं।  डॉ. रविन्द्र पाटिल का भारतीय जनता पार्टी से अलग होने का कारण 2017 में स्थानीय स्तर पर शिवाजी महाराज के एक कार्यक्रम में उनके द्वारा कांग्रेसी नेताओं को बुलाना रहा था। राजनीतिक पंडितों के अनुसार उस वक्त उनकी तत्कालीन सांसद सी आर पाटिल से कथित रूप से अनबन हो गई थी। उसके बाद उन्हें भाजपा से निलंबित कर दिया गया था। तत् पश्चात् वे कांग्रेस में शामिल हो गये और पांच सालों तक जुड़े रहे। लेकिन अब उनका कांग्रेस से मोहभंग हो गया है। 
बताया जा रहा है कि कुछ दिनों पहले डॉ. रविन्द्र पाटिल की गुजरात प्रदेश भाजपाध्यक्ष सी आर पाटिल से मुलाकात हुई थी। माना जा रहा है कि दोनों ने पुराने गिले-शिकवे मिटाकर फिर एक मंच से काम करने का मन बना लिया है। सूत्रों के अनुसार आगामी 8 मई को वे ऑपचारिक रूप से भाजपा में शामिल हो सकते हैं। यानि सबकुछ ठीक-ठाक रहा तो अगले दो दिनों में उनकी घर-वापसी हो सकती है। डॉ. रविन्द्र  पाटिल के फिर से भाजपा में आने से पार्टी केे विशेष रूप से नवसारी लोकसभा क्षेत्र में काफी राजनीतिक लाभ होगा और यदि सी आर पाटिल का भी संसंदीय क्षेत्र है।