सूरत : स्मार्ट सिटी मिशन से देश में सार्वजनिक सुविधाओं में वृद्धि होगी : केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी

सूरत : स्मार्ट सिटी मिशन से देश में सार्वजनिक सुविधाओं में वृद्धि होगी : केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी

देश के 100 स्मार्ट शहरों के नगर आयुक्तों, मुख्य कार्यकारी अधिकारियों की उपस्थिति में तीन दिवसीय स्मार्ट सिटी,स्मार्ट शहरीकरण राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन का उद्घाटन करते केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी

100 स्मार्ट शहरों में से  80 शहरों में एकीकृत कमांड और नियंत्रण केंद्र चालू हैं, शेष 20 शहरों में 15 अगस्त तक चालू हो जाएंगे : केंद्रीय आवास मंत्री हरदीप सिंह पुरी
 राज्य सरकार और सूरत नगर निगम द्वारा 18, 19 और 20  अप्रैल के दौरान सूरत में सरसाना अंतर्राष्ट्रीय प्रदर्शनी और कन्वेंशन सेंटर में आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय (MoHUA) द्वारा आयोजित स्मार्ट सिटीज मिशन में स्मार्ट सिटीज,स्मार्ट शहरीकरण तीन दिवसीय राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन का केंद्रीय आवास और शहरी मामले, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी के हाथो उध्घाटन किया गया ।
देश की आजादी के 75 साल पूरे होने के अवसर पर आजादी का अमृत महोत्सव के तहत  इंडिया स्मार्ट सिटीज अवॉर्ड कॉन्टेस्ट-2022  स्मार्ट सिटी मिशन अंतर्गत  कि ए गए विशिष्ठ कार्य के लिए स्मार्ट सिटीज को सिटी अवार्ड,  इनोवेटिव अवार्ड तथा प्रोजेक्ट अवोर्ड में कुल 51 पुरस्कार प्रदान किए गए। साथ ही इंडिया स्मार्ट आईयूडीएक्स केस आउटपुट और परिणाम डैशबोर्ड का शुभारंभ किया गया। वर्चुअल सेंटर पर विश्व आर्थिक मंच के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए।
इस अवसर पर केंद्रीय आवास और शहरी मामले, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि स्मार्ट सिटी योजना एक भविष्य की योजना है जिसके माध्यम से देश में विकास सुविधाओं के बढ़ने से भविष्य की जरूरतें भी पूरी होंगी। स्मार्ट सिटी परियोजना के एकीकृत कमान और नियंत्रण केंद्र, निगरानी के लिए 100 स्मार्ट शहरों में से 80 शहरों ने पहले ही काम करना शुरू कर दिया है, जबकि शेष 20 शहर भी 15 अगस्त तक कार्यरत हो जायेगे।  
हरदीप पुरी ने कहा कि स्मार्ट सिटी मिशन अब 'मिशन टू मूवमेंट' है। उन्होंने कहा कि, केंद्र, राज्य सरकार और प्रशासनिक अधिकारी इस योजना के साथ मिलकर काम करते हैं।  यह योजना सबसे सफल साबित हो रही है। सूरत नगर निगम को बधाई भूमि देते हुए मंत्री ने कहा कि सूरत शहर को लोगों के कल्याण के उद्देश्य से स्मार्ट सिटी योजना को प्रकट और सही ढंग से लागू किया गया।
इस अवसर पर  कौशल किशोर, केंद्रीय आवास एवं शहरी कार्य राज्य मंत्री ने कहा कि  देश के स्मार्ट शहर 'धूम्रपान मुक्त, शराब मुक्त और नशा मुक्त' हो ऐसी भी जरूरत है। प्रधानमंत्री ने स्मार्ट सिटी विजन के लिए 48 हजार करोड़ रुपये आवंटित किए हैं। प्रत्येक स्मार्ट सिटी के लिए 500 करोड़ रुपये की आवश्यकता है। स्मार्ट सिटी में ऐसी सुविधा
ऐसे शहर जो न केवल सुविधाजनक हैं, बल्कि पर्यावरण के अनुकूल भी हैं, रोजगार के अवसर प्रदान करते हैं और
ईज ऑफ लिविंग ज्यादा होनी चाहिए। स्मार्ट सिटी नेशनल समिट को सुव्यवस्थित करने के लिए, यह कहते हुए कि ब्रांड वैश्विक हो जाएगा इसके लिए सूरत प्रशासन को बधाई।
इस अवसर पर रेल एवं कपड़ा राज्य मंत्री श्रीमती दर्शनाबेन जरदोश ने कहा बार-बार  विनाशकारी बाढ़ की स्थिति के बावजूद, सूरत शहर राख से फीनिक्स पक्षी की तरह दुबारा उठ खडा होता है। सूरत के समग्र विकास के मूल में सूरत के लोगों की मेहनती मनोदशा है। सूरत सबसे तेजी से बढ़ते शहरों में से एक है। कोरोना की गंभीर स्थिति में स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने में साथ ही श्रमिकों को वापस लाने में एक महान जिम्मेदारी।
शहरी विकास राज्य मंत्री विनोदभाई मोरडीया ने कहा कि देश में शहरीकरण तेजी से बढ़ रहा है।  स्मार्ट सिटी के तहत डिजिटल, सुशासन, स्मार्ट डेटा, वित्त सरकार जैसे कई क्षेत्रों में ऐसी सुविधाएं देने के लिए काम कर रही है। गुजरात के छह शहरों को स्मार्ट सिटी के रूप में चुना गया है, जबकि सूरत शहर निकट भविष्य में एक स्वच्छ और स्मार्ट शहर के रूप में अग्रणी भूमिका निभाएगा ऐसा उन्होंने विश्वास व्यक्त किया ।
अपने स्वागत भाषण में मेयर श्रीमती हेमालीबेन बोघावाला ने कहा भारत सूरत में समृद्धि के साथ-साथ उनमें चतुराई भी है। सूरत आने वाले सूरत के हो जाते हैं  मेयर ने कहा कि स्मार्ट सिटी की सारी योग्यताएं सूरत शहर में हैं चूंकि सूरत देश के अन्य राज्यों को प्रेरित करने वाला देश का पहला स्मार्ट शहर बन गया है।
राज्य संगठन अध्यक्ष एवं सांसद सी.आर. पाटिल ने संबोधित करते हुए कहा कि जब प्रधानमंत्री द्वारा स्मार्ट सिटी परियोजना की घोषणा की गई थी, तब लोगों ने इस परियोजना को एक सपन और असंभव कहा था। लेकिन देश के 100 शहरों की मेहनत से यह सपना साकार हुआ। सूरत में पूरे देश को राह दिखाने की क्षमता है। बहुत कम समय के अंतराल मे सूरत शहर ने सार्वजनिक सुविधाओं और ढांचागत सुविधाओं के विकास में नए मील के पत्थर स्थापित किए।
आवास और शहरी मामलों के केंद्रीय सचिव मनोज जोशी उन्होंने सूरत को परियोजना में अन्य शहरों को प्रेरित करने की क्षमता के साथ एक आदर्श शहर के रूप में वर्णित किया। उन्होंने बुनियादी ढांचे और सार्वजनिक सुविधाओं के साथ-साथ एक स्मार्ट सिटी के लिए जीवन की सुगमता में सुधार लाने का आह्वान किया। इसे रहने योग्य बनाने के लिए सूरत नगर पालिका और प्रशासन के प्रयासों की सराहना की। जून 2023 तक उन्होंने स्मार्ट सिटी परियोजनाओं को पूरा करने पर विशेष ध्यान देने का आग्रह किया।
प्रमुख सचिव, शहरी विकास एवं शहरी आवास,  मुकेश कुमार ने कहा कि स्मार्ट शहरों के बीच स्वस्थ प्रतिस्पर्धा होनी चाहिए। गुजरात देश के आर्थिक विकास में अहम भूमिका निभा रहा है, वहीं गुजरात का सूरत, अहमदाबाद,वडोदरा, राजकोट, गांधीनगर और दाहोद शहर स्मार्ट प्रोजेक्ट में मील के पत्थर साबित होंगे।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्रभाई पटेल ने एक वीडियो संदेश भेजकर कहा, प्रधानमंत्री ने 2015 में स्मार्ट सिटी मिशन की शुरुआत की है। बढ़ते शहरीकरण के साथ कई चुनौतियां आती हैं, लेकिन प्रधानमंत्री के इस विजन का अनुसरण करते हुए गुजरात चुनौतियों को अवसरों में बदलने के मूड में है। मुख्यमंत्री ने इस समिट के सफल आयोजन के लिए सूरत नगर निगम और शहरी विकास विभाग को बधाई धन्यवाद दिया
।इस अवसर पर आंध्र प्रदेश के शहरी विकास मंत्री  ए. सुरेश, गृह राज्य मंत्री श्री हर्ष सांघवी, कृषि, ऊर्जा और पेट्रोरसायन राज्य मंत्री मुकेशभाई पटेल, सूरत नगर निगम आयुक्त बंच्छानधि पाणि, जिला कलेक्टर आयुष ओक, सूडा के सीईओ वीएन शाह, विधायक विभिन्न स्मार्ट शहरों के नगरसेवक, नगर निगम और जिला प्रशासन के अधिकारी प्रतिनिधि, स्मार्ट सिटी के नगर आयुक्त, मुख्य कार्यकारी अधिकारी उपस्थित थे।

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