सूरत : आपराधिक वारदातों के खौफ के साये में श्रमिकों के बच्चों के लिये डे-केयर सेंटर शुरु करने की कवायद

सूरत : आपराधिक वारदातों के खौफ के साये में श्रमिकों के बच्चों के लिये डे-केयर सेंटर शुरु करने की कवायद

डर के मारे मां-बाप खुद काम पर जाते वक्त बच्चों को घरों में कैद करके जाते हैं

राज्य में पिछले कई समय से छोटे बच्चों के साथ होने वाली आपराधिक घटना में लगातार इजाफा होते जा रहा है। इस बीच जोलवा गाँव में एक मासूम बच्ची के साथ दुष्कर्म के उसकी हत्या करने की घटना के सामने आने पर पूरे इलाके में हलचल मच गई है। आज की महंगाई में जहां श्रमिक परिवार में माता-पिता दोनों के एक साथ कमाई करने के बाद किसी तरह अपने घर का गुजारा चला पाते है, ऐसे में मजबूरन आज कल श्रमिक परिवार को अपने बच्चों को घर में बंद करके जाने पर मजबूर होना पड़ा है। ऐसे में बच्चों के लिए डे-केयर सेंटर खोलने की शुरू करने की कवायद हो रही है।
शहर के पलसाना तहसील में जोलवा गाँव में पड़ोस की 11 साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया था। इसके बाद लोग अब काफी डर चुके है। ऐसे में कई लोग अपने बच्चों को घर के अंदर बंद कर के जाने को मजबूर हुए है। कड़ोदरा के एक अभिभावक ने तो यहाँ तक बताया कि उसके दो बेटे और एक 11 साल की बेटी है। उन्होंने अपने घर में बच्चों के खाने-पीने की सभी सुविधा कर के रख दी है। इसके बाद लोहे की  ग्रिल में ताला मारकर चाभी भी अंदर बेटी को दे देते है। इसके अलावा उन्होंने सपनी संतानों को समझा दिया है की उनके अलावा किसी और के आने पर घर का दरवाजा ना खोले।
घटना के बाद लोगों में काफी डर फैला हुआ है। ऐसे में परप्रांतीय समुदाय के अग्रणी अरुणभाई दुबे ने बताया कि रेंज आईजी राजकुमार पंडियन द्वारा डे-केयर शुरू करने की तैयारी की जा रही है। यदि यह योजना शुरू होती है तो वह अनेक परिवारों के लिए आशीर्वाद स्वरूप प्रदान हो सकती है।