गुजरात पुलिस के लिए सरदर्द बने अपराधी, २३ हजार में से मात्र चार सौ हिरासत में

अहमदाबाद, सूरत, राजकोट और वडोदरा इन चार शहरों में 8000 से अधिक आरोपी पुलिस हिरासत से बाहर

गुजरात में पुलिस के लिए फरार आरोपियों की बढ़ती संख्या एक बड़ी परेशानी है। जनवरी 2022 तक, राज्य में कुल 23054 फरार और वांटेड आरोपी थे, जिनमें से केवल 429 आरोपियों को पुलिस गिरफ्तार कार पाई है।
आपको बता दें कि पुलिस द्वारा आरोपी को पकड़ने के लिए विशेष अभियान चलाया जाता है लेकिन इसके बाद भी बहुत कम ही अपराधी पकड़े जा रहे हैं। जनवरी, 2022 तक अहमदाबाद, सूरत, राजकोट और वडोदरा इन चार शहरों में 8000 से अधिक आरोपी पुलिस हिरासत से बाहर है। एक महीने में इन चार शहरों में पुलिस केवल 44 वांछित संदिग्धों को पकड़ने में सक्षम रही।
राज्य में हर साल वांछित आरोपियों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। राज्य में फरार आरोपियों की संख्या 2020 में 21941 आरोपियों से बढ़कर 23054 हो गई। वांछित आरोपियों को तेजी से पकड़ने के लिए राज्य पुलिस प्रमुख द्वारा अक्सर एक महीने का अभियान चलाया जाता है। हालांकि इस अभियान के दौरान भी पुलिस को आरोपियों को पकड़ने में 40 फीसदी सफलता मिली है। जनवरी 2022 में, राज्य भर में केवल 429 आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। सबसे अधिक 77 आरोपी मेहसाणा से, 53 दाहोद से व ५० बनासकांठा से पुलिस ने हिरासत में लिया।
आपको बता दें कि इन तीनों जिलों में 3048 आरोपी वांटेड थे और जिसमें से पुलिस ने 180 आरोपियों को गिरफ्तार किया था। अहमदाबाद, सूरत, वडोदरा और राजकोट जैसे शहरों में मुखबिरों का पुलिस नेटवर्क कमजोर हो गया। पुलिस ने केवल इन चार शहरों में  44 वांटेड आरोपियों को पकड़ा है। पुलिस खेड़ा-नडियाड, आनंद, सुरेंद्रनगर, देवभूमि द्वारका, गिर-सोमनाथ, बोटाद ये छह जिले और पश्चिम रेलवे अहमदाबाद और वडोदरा से एक भी आरोपी को नहीं पकड़ पाई। इस जिले और दोनों रेलवे थानों में भी वांछित आरोपियों की सूची बहुत बड़ी है।
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