सबक : पहले सूरत-वलसाड जाना पड़ता था, उद्यमी ने नवसारी में लगवा दिया 21 टन का ऑक्सिजन प्लांट

सबक : पहले सूरत-वलसाड जाना पड़ता था, उद्यमी ने नवसारी में लगवा दिया 21 टन का ऑक्सिजन प्लांट

महामारी के दौरान लोगों की तकलीफ़ों को देखते हुये बनवाया ऑक्सीज़न प्लांट, एक साथ 60 सिलिंडरों को किया जा सकेगा रीफ़ील

देश भर में महामारी की दूसरी लहर में लोगों को काफी तकलीफ़ों का सामना करना पड़ा था। अचानक से संक्रमण बढ्ने के कारण देश भर में ऑक्सीज़न की कमी की काफी शिकायतें सामने आई। गुजरात के नवसारी जिले में भी कई लोगों को ऑक्सीज़न की कमी का सामना करना पड़ा। हालांकि अपनी ऑक्सीज़न की जरूरतों को पूरा करने के लिए नवसारी के नागरिकों को सूरत और वलसाड जाना पडता था। लोगों को हो रही इस तकलीफ़ों को देखते हुये नवसारी के एक उद्यमी ने अपने जिले में ही ऑक्सीज़न प्लांट शुरू करने का निर्णय किया, जिसका उदघाटन श्री सी आर पाटील द्वारा किया गया। 
नेशनल हाइवे नंबर 48 पर आए इस ऑक्सीज़न प्लांट की क्षमता प्रतिदिन 1200 सिलिन्डर की है। जिसमें एक ही समय पर 60 ऑक्सीज़न सिलिन्डर रीफ़ील किए जा सकते है। 21 टन की क्षमता वाला यह प्लांट में संभवित तीसरी लहर के दौरान होने वाली जरूरतों को पूरा करने के लिए काफी है। मात्र 25 दिनों में इस प्लांट को बनवाने वाले उद्यमी चंदुभाई गड़ारा ने बताया कि दूसरी लहर के दौरान उन्होंने दूसरों की तकलीफ़ों को देखा है। इसलिए उन्होंने अपने जिला में ही ऑक्सीज़न प्लांट बनाने का निर्णय किया। 
चंदुभाई कहते है कि भगवान न करे कि यदि महामारी की तीसरी लहर आ जाये तो किसी तरह की विकट परिस्थिति ना उत्पान्न हो इसके लिए उन्होंने यह प्लांट बनवाने का निर्णय लिया था।