सूरत : एसएमए की मीटिंग में व्यापारिक मंदी पर हुई चर्चा, कमजोर रही दीपावली की ग्राहकी
22 में से 2 मामलों का तत्काल समाधान, 6 माह में 8 करोड़ 20 लाख रुपये के विवाद निपटाए गए
सूरत मर्केंटाइल एसोसिएशन की 208वीं साप्ताहिक समाधान मीटिंग में कुल 118 व्यापारी उपस्थित रहे। बैठक में 22 आवेदन पत्र प्राप्त हुए, जिनमें से दो का तत्काल समाधान कर दिया गया, जबकि शेष आवेदन पंच पैनल को सौंपे गए, जिनका निराकरण आगामी बैठकों में किया जाएगा।
बैठक में संस्था के चालू वित्त वर्ष के पहले छह महीनों का लेखा-जोखा प्रस्तुत किया गया। इस अवधि में कुल 658 आवेदन पत्र प्राप्त हुए, जिनमें से 380 मामलों का आपसी सहमति से समाधान किया गया। इससे व्यापारियों को लगभग 8 करोड़ 20 लाख रुपये की राशि वसूली कर दिलवाई गई।
बैठक की शुरुआत में व्यापारिक स्थिति पर विस्तृत चर्चा हुई। सदस्यों ने बताया कि चालू वित्त वर्ष में केवल जुलाई, अगस्त और सितंबर माह में व्यापार सामान्य रहा, जबकि कुल मिलाकर व्यापार पिछली दीपावली की तुलना में 15 से 25 प्रतिशत कमजोर रहा। व्यापारिक मंदी का मुख्य कारण अनियमित वर्षा, सोना-चांदी में तीव्र बढ़ोतरी और जमाखोरी की प्रवृत्ति बताई गई, जिससे बाजार की मांग प्रभावित हुई है।
इसके अलावा 4 अक्टूबर से लागू भारतीय रिज़र्व बैंक की सेम-डे क्लीयरिंग प्रणाली पर भी चिंता व्यक्त की गई। व्यापारियों ने कहा कि यह व्यवस्था व्यवहार में विफल रही है, क्योंकि कई मामलों में 7 दिन बाद भी भुगतान खातों में क्रेडिट नहीं हो पा रहा है। एसोसिएशन ने अनुरोध किया कि इस नई क्लीयरिंग पद्धति को कम से कम एक माह के लिए स्थगित किया जाए, अन्यथा दीपावली के समय व्यापारियों को गंभीर वित्तीय संकट झेलना पड़ेगा।
मीटिंग के अंत में अध्यक्ष नरेंद्र साबू ने सभी व्यापारियों को दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं और नए वर्ष की मंगलकामनाएं दीं। बैठक में अशोक गोयल, राजीव ओमर, मनोज अग्रवाल, संजय अग्रवाल, रामकिशोर बजाज, अरविंद जैन, मुकेश अग्रवाल, राजेश गुरुनानी, घनश्याम महेश्वरी, दुर्गेश टिबरेवाल, राजू चिरानिया और महेश पाटोदिया सहित अनेक सदस्य उपस्थित रहे।