मेडिकल एक्जाम में फेल होने के कारण घर से भाग गया था युवक, सात साल के बाद आधार कार्ड के माध्यम से पुलिस ने ढूंढ निकाला

मेडिकल एक्जाम में फेल होने के कारण घर से भाग गया था युवक, सात साल के बाद आधार कार्ड के माध्यम से पुलिस ने ढूंढ निकाला

आधार कार्ड के माध्यम से वैक्सीन की जानकारी से निकाला पता,

जूनागढ़ जिले के मंगरोल के पास शेरियाज गांव में 12वीं पास करने के बाद मोहित मकवाना को सुरेंद्रनगर के सी यू शाह कॉलेज में एडमिशन दिलाया गया। मोहित के माता-पिता उसके डॉक्टर बनकर घर आने का इंतजार कर रहे थे। पर तीसरे साल की पढ़ाई कर रहे मोहित का 2 फरवरी 2014 के बाद से ही संपर्क टूट गया था। इसके चलते उसके परिवार वालों ने कॉलेज में भी पता किया, पर मोहित का कोई पता नहीं चला। इसके बाद उसके माता-पिता ने कॉलेज में शिकायत दर्ज करवाई।
डेढ़ साल बाद भी सुरेंद्रनगर क्राइम ब्रांच और स्पेशल ऑपरेशंस ग्रुप को मोहित का पता लगाने में कोई सफलता नहीं मिली थी। इसलिए परिवार ने सांसदों और विधायकों को अभ्यावेदन दिया, गृह विभाग के निर्देश पर 2012 में मामला गुजरात सीआईडी अपराध शाखा को सौंप दिया गया। क्राइम ब्रांच ने मामले के जांच की ज़िम्मेदारी डीवाईएसपी जुगल पुरोहित को सौंपी। हालांकि डीवाईएसपी की दो साल की जांच भी असफल रही। 
(Photo Credit : sandesh.com)
2012 में जब डीवाईएसपी का तबादला गांधीनगर में किया गया तो मामला फिर से सुरेंद्रनगर पुलिस को सौंप दिया गया। एक साल बाद, डीवाईएसपी को जूनागढ़ के मांगरोल में डीवाईएसपी के रूप में तैनात किया गया था। इसलिए मोहित के पिता फिर से डीवाईएसपी के कार्यालय जाने लगे। मांगरोल स्वास्थ्य केंद्र से डीवाईएसपी को मोहित का आधार कार्ड नंबर मिला। स्वास्थ्य केंद्र के एक अधिकारी ने आधार कार्ड नंबर दर्ज किया तो पता चला कि मोहित ने मुंबई के ठाणे से वैक्सीन ली है। अब यह पता लगाना मुश्किल था कि वह मुंबई में कहां है।
आधार कार्ड के आधार पर एक और लिंक मिला कि मोहित का थाने की सीबीआई बैंक में खाता था और वहां रजिस्ट्रार का मोबाइल नंबर मिला था। तकनीकी टीम मुंबई गई और मोहित को खोजने के लिए अंबरनाथ पुलिस के साथ मोहित को ढूँढने के प्रयास किए। मोहित के पिता भी इस समय मुंबई पहुंचे और अपने बेटे मोहित को वापस ले आए। ।
Tags: Gujarat