वडोदरा : घर सामान बेचने के बहाने सीआईएसएफ कर्मी के नाम से शातिर ने की ठगी 

सीआईएसएफ एक प्रतिबंधित क्षेत्र है, इसलिए सामान देखने को नहीं मिलेगा ऐसा बहाना बनाकर दिया ठगी को अंजाम

मेरा ट्रांसफऱ हो गया है, जिससे घर में टीवी, फ्रिज, एसी, लोहे की तिजोरी, झूला सहित अन्य मात्र छह महीने उपयोग किये गये फर्निचर तथा घर का अन्य सामान बहुत ही कम कीमत यानी 60 से 70 हजार में बेचने की जानकारी फेसबुक पर देकर तथाकथित सीआईएसएफ कर्मी ने एडवांस रुपये सहित तय की गई पूरी कीमत बैंक के गुप्त खाते में जमा कराकर ठगी का नया मामला सामने आया है। 'लालची लोभी हो तो ठगबाज भूखों न मरे' वाली कहावत को चरितार्थ करने वाली घटना में पीड़ित चूप हैं और पुलिस शिकायत दर्ज कराने से बच रहे है।

साइबर क्राइम के अपराधी नए-नए तरीके से अपराध को अंजाम दे रहे हैं

उल्लेखनीय है कि साइबर क्राइम के अपराधी नए-नए तरीके से अपराध को अंजाम दे रहे हैं और लालचियों को अपने जाल में फंसाने का एक भी मौका नहीं छोड़ते हैं। आए दिन ऐसे अलग-अलग मामले सामने आ रहे हैं। साथ ही, कई निर्दोष व्यक्तियों के बैंक खातों से पैसे निकालने के दैनिक मामले अक्सर सामने आते हैं। ऐसे में जब बैंक एवं साइबर पुलिस धोखाधड़ी के मामलों को लेकर अपराधियों को पकड़ने में जुटी है. वहीं दूसरी ओर भेजाबाजों ने ठगी का तरीका पूरी तरह से बदल दिया है।

भेजाबाज ने सीआईएसएफ कर्मचारी बनकर फेसबुक पर पोस्ट किया है

भेजाबाज ने सीआईएसएफ कर्मचारी बनकर फेसबुक पर पोस्ट किया है। जिसमें सीआईएसएफ कर्मी होने की फर्जी पहचान पत्र दिया गया है। नई जगह बदली हुई है वहीं तत्काल जाना है यह कहते हुए भेजाबाज ने एसी फ्रिज, 50 इंच ब्रांडेड टीवी, आयरन सेफ, झूला, इन्वर्टर और अन्य 8 से 10 वस्तुओं  को बहुत ही मामूली कीमत पर तुरंत दे देना है।

यदि कोई इच्छुक व्यक्ति इस बारे में फेसबुक पर कोई संदेश पोस्ट करता है तो विपरीत छोर से एक मोबाइल नंबर दिया जाता है, जहां कॉल करने पर बताया जाता है कि वायु सेना में कार्यरत होने के कारण किसी अन्य व्यक्ति को प्रतिबंधित क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति नहीं है। इन सभी वस्तुओं की स्थिति के बारे में पूछताछ करने पर बताया जाता है कि वायु सेना कार्गो में आपके निर्दिष्ट पते पर भेज दिया जाएगा और आपको इस संबंध में कोई भाड़ा नहीं देना होगा।

कुछ लोग ऐसे लालची विज्ञापनों में भी फंस जाते हैं

साथ ही सीआईएसएफ कर्मियों द्वारा सामान की जांच के बाद ही पैसे देने की बात कही जाती है। साथ ही कहा जाता है कि माल पसंद होने के बाद ही भुगतान करने तथा नहीं पसंद आने पर कार्गों में बिना भाड़ा चुकाये वापस कर लिया जाएगा। लिहाजा जाल में फंसे लालची लोगों को कथित सीएसएफ कर्मी बार-बार फोन कर कीमत कम करने की तत्परता दिखाकर ग्राहक को फंसाने की कोशिश की जाती है। हालांकि कुछ लोग ऐसे लालची विज्ञापनों में भी फंस जाते हैं। लेकिन समाज में बदनामी या थाने के चक्कर काटने के डर से कोई भी पीड़िता इस मामले में एक शब्द बोलने को तैयार नहीं है। 

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