पीएम मोदी ने पूर्व आईएएस अधिकारी अमित खरे को बनाया अपना सलाहकार

दो वर्ष के लिए की गई पूर्व आईएएस अधिकारी की नियुक्ति

नई दिल्ली,(आईएएनएस)| भारत सरकार के सूचना एवं प्रसारण और शिक्षा जैसे महत्वपूर्ण मंत्रालयों में सचिव की जिम्मेदारी संभाल चुके और हाल ही में रिटायर हुए आईएएस अधिकारी अमित खरे को प्रधानमंत्री मोदी ने अपना नया सलाहकार नियुक्त किया है। झारखंड कैडर के 1985 बैच के आईएएस अधिकारी अमित खरे को प्रधानमंत्री का सलाहकार नियुक्त करने के प्रस्ताव पर कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने मुहर लगाई। मंगलवार को उनकी नियुक्ति का आदेश भी जारी कर दिया गया। प्रधानमंत्री के सलाहकार के तौर पर अमित खरे का पद भारत सरकार में सचिव के पद के बराबर होगा और उसी ग्रेड के अनुसार उन्हे वेतन भी मिलेगा।
कैबिनेट की नियुक्ति समिति द्वारा जारी आदेश के मुताबिक संविदा के आधार पर उनकी नियुक्ति दो वर्ष के लिए की गई है और वे दो वर्ष या अगले आदेश तक ( जो भी इनमें से पहले आएगा) अपने पद पर बने रहेंगे। अमित खरे अपनी ईमानदारी और नये प्रयोगों को लेकर खास तौर से जाने जाते हैं। भारत सरकार के सचिव के तौर पर वो सूचना एवं प्रसारण और शिक्षा जैसे महत्वपूर्ण मंत्रालयों में सचिव की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं। बतौर प्रशासनिक अधिकारी 30 सितंबर को रिटायर हुए अमित खरे को 12 दिन बाद ही प्रधानमंत्री कार्यालय में इस महत्वपूर्ण पद पर नियुक्त कर दिया गया है।
रिटायर होने से पहले शिक्षा मंत्रालय के सचिव के तौर पर 34 वर्षों बाद देश में नई शिक्षा नीति को लागू करने में उन्होने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उच्च शिक्षा के क्षेत्र में भी कई क्रांतिकारी बदलाव का श्रेय उन्हे दिया जाता है। इससे पहले सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय में सचिव के तौर पर डीडी के एक दर्जन सैटेलाइट चैनल लांच करने, डिजिटल मीडिया और ओटीटी प्लेटफॉर्म के बारे में नीति बनाने में भी अमित खरे की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। 36 वर्षों के प्रशासनिक करियर में अमित खरे के नाम पर कई उपलब्धियां दर्ज हैं। चाईबासा के उपायुक्त के तौर पर चारा घोटाले के मामले में पहली एफआईआर उन्होने ही दर्ज कराई थी। चारा घोटाले के मामले में ही लालू यादव को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर जेल तक जाना पड़ा था।