सूरत : छोटे पैक में ब्रांडेड सामानों की खपत बढ़ी, छोटे व्यापारियों का टिका रहना मुश्किल

सूरत : छोटे पैक में ब्रांडेड सामानों की खपत बढ़ी, छोटे व्यापारियों का टिका रहना मुश्किल

अनाज व्यवसाय में मौसम, फसल एवं सरकार की नीति को लेकर थोड़ा उतार-चढ़ाव रहता है

सूरत के दिल्ली गेट के पास गलेमंडी में 6/187 में जामियताल एण्ड संस के नाम से अनाज का थोक व्यवसाय करते मनहर बजाज बताते हैं कि हमारे व्यापार में अन्य व्यवसाय की तरह बहुत डबल ट्रिपल होने के चांस नहीं होते। हमारे व्यवसाय में मौसम, फसल एवं सरकार की नीति को लेकर थोड़ा उतार-चढ़ाव रहता है। जिस तरीके से दूसरी इंडस्ट्री जैसे इलेक्ट्रॉनिक्स, कपड़ा, बेकरी आदि में 10-5 सालों में किसी भी सामान का दोगुना-तीन गुना रेट हो जाता है, वैसा हमारे व्यवसाय में नहीं है। अनाज व्यवसाय में किसानों के यहां फसल तैयार होने के बाद रेट में थोड़ा कमी आ जाती है। जबकि कम फसल के होने पर मार्केट में उस अनाज के भाव थोड़ा बढ़ जाता है।

छोटे-छोटे शहरों में अनाज मंडी हैं,  सूरत में नहीं 

सूरत होलसेल ग्रेन मर्चन्ट एसोसिएशन के प्रमुख मनहर भाई बजाज बताते हैं कि सरकार की एक्सपोर्ट नीति से हमारे अनाज बाजार में मंदी-तेजी का रुख होता है। जब फसल किसानों के यहां से तैयार होकर बाजार में आता है तो उस समय भाव में गिरावट रहती है। इसके बाद भाव में सुधार होने लगता है।  छोटे-छोटे शहरों में अनाज मंडी हैं, लेकिन सूरत में नहीं है। यदि अनाज मंडी होती तो ग्राहकों को फायदा होता। यहां अनाज का उत्पादन नहीं है सिर्फ शुगर मिलें हैं। गुजरात में जीरा एवं मूंगफली का पैदावार है, जबकि अन्य सभी प्रकार के अनाज दूसरे राज्यों से मंगाये जाते हैं। शहर में बड़े वाहनों की नो एन्ट्री होने से कड़ोदरा में ही रोक दिया जाता है, जिससे अन्य वाहनों से मंगाया जाता है। इसका खर्च भी ग्राहकों पर जाता है। यदि अनाज मंडी होती तो बड़े वाहन सीधे मंडी में आ जाते।  

मॉल कल्चर एवं ऑनलाइन के प्रचलन से छोटे-छोटे व्यापारी कम होते जा रहे हैं

मनहर भाई बजाज बताते हैं कि हाल में छोटी फैमिली होने से आज छोटे पैक्ड में ब्रांडेड सामानों की खपत बढ़ गई है। मॉल कल्चर एवं ऑनलाइन के प्रचलन से छोटे-छोटे व्यापारी कम होते जा रहे हैं। छोटे व्यापारी यदि धंधा कर रहे हैं तो केवल दाल रोटी निकाल सकते हैं। अब तक तकरीबन 50 प्रतिशत छोटे व्यापारी अपना दुकान बंद कर दूसरा व्यवसाय अथवा नौकरी कर रह हैं। थोक अनाज के व्यवसायी मनहर भाई ने छोटे व्यापारियों को बचाने के लिए जहां एक ओर सरकार से नीति बनाने की अपील की, वहीं लोगों से भी स्थानीय स्तर पर सामान खरीदने की गुजारिश की। साथ ही उन्होंने सरकार से सूरत में अनाज मंडी खोलने अथवा उसके लिए जमीन उपलब्ध कराने की मांग की। 
Tags: 0