मंत्रा और आईडीटी ने वीवर्स के प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू करने के लिए हाथ मिलाया

मंत्रा और आईडीटी ने वीवर्स के प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू करने के लिए हाथ मिलाया

कपड़ा क्षेत्र से जुड़े लोगों में विकास की इच्छा रखने वाले लोगों को तकनीकी शिक्षण प्रदान किया जाएगा

MANTRA एक टेक्सटाइल रिसर्च एसोसिएशन है, जिसमें विभिन्न उपकरणों की NABL मान्यता प्राप्त एक विशाल प्रयोगशाला है और आईडीटी जो की एक अग्रणी डिजाइन संस्थान है, और उद्योग की जरूरतों पर विचार करता है; दोनों ने साथ मिलकर कपड़ा क्षेत्र से जुड़े विकास की इच्छा रखने वाले लोगों को तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान करने का बीड़ा उठाया है।
दोनों सूरत में 3 महीने के टेक्सटाइल वीवर्स के प्रशिक्षण को लेकर आ रहे आईडीटी और मन्त्रा के इस सहयोग के पीछे मुख्य उद्देश्य कौशल उन्नयन है, जिसमें  वीवर्स को बेहतर तकनीक का हस्तांतरण, अपनाने की प्रेरणा और उत्पादों के लिए क्षेत्र तक बेहतर पहुंच प्रदान करने में मदद करना है, ताकि उनकी उत्पादकता, गुणवत्ता और कमाई को बढ़ाया जा सके। यह सहयोग रोजगार के अवसर प्रदान करने और बनाने की एक आशा है जो शहर की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने में भी मदद करेगा। आईडीटी और मंत्रा इस प्रशिक्षण के माध्यम से कपड़ा व्यवसाई के लिए एक एहम जगह बनाने की उम्मीद कर रहे हैं ताकि इस साथ से सबका विकास हो सके.। 
“अकेले हम इतना कम कर सकते हैं; हम एक साथ इतना कुछ कर सकते हैं।"
मंत्रा के अध्यक्ष श्री रजनीकांत बचकानीवाला ने व्यक्त किया, "इस तरह के संघ औद्योगिक प्रशिक्षण के माध्यम से भारी रोजगार पैदा करेंगे और शिक्षाविदों और कपड़ा उद्योगों के बीच की खाई को पाटने के लिए तत्पर हैं।" इसके अलावा उन्होंने कपड़ा उद्यमियों से अपनी अगली पीढ़ी को कपड़ा में आगामी तकनीक के माध्यम से प्रशिक्षित करने का आह्वान किया। आईडीटी के संस्थापक श्री अशोक गोयल के शब्दों में, "इस तरह के पीपीपी मॉडल और एसोसिएशन समग्र विकास की दिशा में काम करते हैं और हम पर अपना विश्वास दिखाने के लिए मैं मंत्रा का आभारी हूं।"
डॉ. एस.के. बासु, निदेशक, मंत्रा ने कहा, "मंत्रा पिछले 15 वर्षों से इस तरह के प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित कर रहा है और आईडीटी के साथ यह जुड़ाव इस पाठ्यक्रम को पूरे भारत में जनता तक पहुंचाने में मदद करेगा।" अपर निदेशक मंत्रा, डॉ. पी.पी. रायचूरकर के अनुसार, "इसका दीर्घकालिक उद्देश्य गारमेंटिंग की पूरी प्रक्रिया को स्वचालित करना है, वीविंग से लेकर गीले प्रसंस्करण, तकनीकी वस्त्रों तक और अंत में स्वचालित परिधान की ओर बढ़ना है। इस संयुक्त उद्यम के माध्यम से, हम कपड़ा और परिधान उद्योग में  कुशल प्रशिक्षित कर्मचारियों और उद्यमियों को प्रदान करने में सक्षम होंगे। अगले पांच वर्षों का लक्ष्य सूरत शहर में वीविंग में नई विनिर्माण इकाइयों वाले 50 सक्षम उद्यमियों को प्रशिक्षित और प्रदान करना है। "
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