
कनाडा के हालिया बयान पर तल्ख़ रिश्तों का असर भारतीय सेना पर नहीं पड़ेगा
भारत और अमेरिका की मेजबानी में इंडो-पैसिफिक आर्मी चीफ कॉन्फ्रेंस में शामिल होगा कनाडा
हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सुरक्षा सहयोग और सामूहिक रणनीतियों पर चर्चा करेंगे 30 देशों के सेना प्रमुख
नई दिल्ली, 20 सितम्बर (हि.स.)। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के हालिया बयान के बाद भारत के साथ तल्ख़ हुए रिश्तों का असर भारतीय सेना पर नहीं पड़ेगा। कनाडा के प्रति सेना का राजनयिक दृष्टिकोण और उससे सैन्य सम्बन्ध पहले की तरह बने रहेंगे। भारतीय सेना और अमेरिकी सेना प्रशांत की मेजबानी में 25-27 सितम्बर को नई दिल्ली के मानेकशॉ सेंटर में होने वाली इंडो-पैसिफिक आर्मी चीफ कॉन्फ्रेंस में कनाडा का प्रतिनिधिमंडल आएगा।
मानेकशॉ सेंटर में तीन दिनों के भीतर 13वीं इंडो-पैसिफिक आर्मी चीफ कॉन्फ्रेंस (आईपीएसीसी), इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में बहुपक्षीय सुरक्षा साझेदारी सुनिश्चित करने के लिए 47वीं इंडो-पैसिफिक आर्मीज़ मैनेजमेंट सेमिनार (आईपीएएमएस) और 9वीं सीनियर एनलिस्टेड लीडर्स फोरम (एसईएलएफ) भी होगा। इन कार्यक्रमों की तैयारियों के सिलसिले में बुधवार को एक प्रेस कांफ्रेंस में उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल एम.वी. सुचिन्द्र कुमार ने बताया कि दो दिनों तक चलने वाली आईपीएसीसी में हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सुरक्षा सहयोग और सामूहिक रणनीतियों पर चर्चा के लिए हिंद-प्रशांत क्षेत्र के 30 सेना प्रमुख भाग लेंगे। सम्मेलन में क्षेत्र में आपसी हित के मुद्दों और क्षेत्र में संकट को कम करने में सैन्य कूटनीति की भूमिका पर भी चर्चा होगी।
उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल एमवी सुचिन्द्र कुमार ने कहा कि आजादी के बाद से भारतीय सेना ने भारत-प्रशांत क्षेत्र में शांति और स्थिरता को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि सम्मेलन के दौरान हिंद-प्रशांत सेनाओं के प्रमुख संकटों को कम करने में सैन्य कूटनीति की भूमिका, सहयोग और अंतरसंचालनीयता बढ़ाने और आधुनिक सेनाओं की आत्मनिर्भरता के मुद्दों पर चर्चा होगी। उप प्रमुख ने कहा कि इंडो-पैसिफिक दुनिया के 64 प्रतिशत निवासियों को कवर करता है और सकल घरेलू उत्पाद में 63 प्रतिशत का योगदान देता है, जिसमें वैश्विक व्यापार का 46 प्रतिशत शामिल है। उन्होंने कहा कि इंडो-पैसिफिक निर्विवाद रूप से विश्व अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका रखता है।
अतिरिक्त महानिदेशक (रणनीतिक योजना) मेजर जनरल अभिनय राय ने कहा कि कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के हालिया बयान के बाद भारत के साथ तल्ख़ हुए रिश्तों का असर भारतीय सेना पर नहीं पड़ेगा। इस सम्मेलन के लिए कनाडा का सैन्य प्रतिनिधिमंडल आ रहा है। उन्होंने कहा कि भारत-कनाडा संबंधों में तनाव हम पर असर नहीं डालता और भारत का कनाडा के साथ राजनयिक दृष्टिकोण, सैन्य संबंध जारी रहेंगे। उन्होंने चीन का जिक्र करते हुए कहा कि जब हम अपने पड़ोसी के साथ गतिरोध के बावजूद उनके साथ हर स्तर पर बातचीत जारी रखते हैं, तो हमारे राजनयिक प्रयास और यहां तक कि कनाडा के साथ सैन्य प्रयास भी जारी रहेंगे।
उन्होंने बताया कि दिल्ली छावनी में आयोजित होने वाले इंडो-पैसिफिक सेना प्रमुखों के सम्मेलन में कनाडाई सेना का प्रतिनिधित्व उसके डिप्टी कमांडर मेजर जनरल पीटर स्कॉट करेंगे। यह सम्मेलन बहुपक्षीय सुरक्षा साझेदारी सुनिश्चित करने के लिए आयोजित किया जा रहा है। इसका मकसद इंडो-पैसिफिक के लिए पेशेवर सेनाओं के बीच मतभेदों को दूर करने, विश्वास बनाने और बेहतर संचार के लिए नियमित रूप से कार्यक्रम आयोजित करना है। अमेरिकी सेना के चीफ ऑफ स्टाफ जनरल जेम्स सी मैककॉनविले भी अपने प्रतिनिधिमंडल के साथ आएंगे। जनरल मैककॉनविले भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे के साथ कार्यक्रम की सह-मेजबानी करेंगे।