अहमदाबाद : नवीन राष्ट्रीय शिक्षा नीति राष्ट्र के युवाओं को वैश्विक स्तर पर रोज़गार के विपुल अवसर उपलब्ध कराएगी : उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़

अहमदाबाद  :  नवीन राष्ट्रीय शिक्षा नीति राष्ट्र के युवाओं को वैश्विक स्तर पर रोज़गार के विपुल अवसर उपलब्ध कराएगी : उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की अध्यक्षता में ‘एक्सीलेंस इन हायर एजुकेशन’ कार्यक्रम आयोजित

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने गांधीनगर स्थित गुजरात राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय (गुजरात नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी) में राज्य सरकार के शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित ‘एक्सीलेंस इन हायर एजुकेशन’ कार्यक्रम का शुभारंभ कराया। कार्यक्रम में राज्यपाल आचार्य देवव्रत व मुख्यमंत्री भुपेंद्र पटेल भी उपस्थित थे। श्री धनखड़ ने इस अवसर पर कहा कि आज देशवासी विश्व के किसी भी कोने में जाते हैं, तब स्वयं के भारतीय होने पर गर्व करते हैं। देश के दीर्घदृष्टिवान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कारण यह संभव हुआ है। आज दुनिया के अनेक देश भारत का अवलोकन व अनुकरण कर प्रधानमंत्री की हर बात को गंभीरता से अपने राष्ट्र-विकास के लिए लागू करते हैं। 

निवेश तथा अवसरों के लिए आज गुजरात विश्वभर में प्रथम पसंदीदा स्थल


प्रधानमंत्री लगातार उज्ज्वल वर्तमान से उज्ज्वल भविष्य की कल्पना साकार कर रहे हैं। स्वतंत्रता से पूर्व तथा स्वतंत्रता के पश्चात गुजरात के अनेक सपूतों का राष्ट्र निर्माण में योगदान रहा है और वर्तमान में भी गुजरात के सपूत देश का नेतृत्व कर रहे हैं, जो गुजरात के लिए गौरव की बात है। उन्होंने कहा कि इन्वेस्टमेंट एण्ड अपॉर्चुनिटी (निवेश व अवसर) के लिए आज गुजरात विश्वभर में पसंदीदा स्थान बना है।

छात्रों को अनुसंधान के लिए स्टार्टअप्स, इनोवेशन लैब, इनक्यूबेटर आदि देश के लिए प्रेरणादायी


उन्होंने इतिहास के संस्मरणों का मनन करते हुए कहा कि वे 33 वर्ष पूर्व जब सांसद के रूप में कार्यरत थे, तब प्रत्येक सांसद को अपने पसंदीदा 50 लोगों को गैस कनेक्शन आवंटन का अधिकार था, परंतु अंतिम छोर के मानव के लिए सदा-सर्वदा चिंतनशील प्रधानमंत्री मोदी ने आज करोड़ों घरेलू गैस कनेक्शन नि:शुल्क प्रदान किए हैं। पहले ज़िले की ज़रूरत को ध्यान में रखते हुए विद्युत आपूर्ति की जाती थी और आज अंतिम छोर के मानव तक बिजली पहुँचाने वाला सुदृढ़ आयोजन किया गया है। उपराष्ट्रपति ने कहा, “मैंने 34 वर्ष पहले अमेरिका में स्टैच्यू ऑफ़ लिबर्टी की मुलाक़ात के दौरान सपने में भी नहीं सोचा था कि भारत में इससे भी विशाल प्रतिमा का निर्माण होगा। आज गुजरात स्थित विश्व की सबसे ऊँची सरदार वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा स्टैच्यू ऑफ़ यूनिटी की अद्भुत संरचना देख कर मैं गौरव की अनुभूति करता हूँ।”
उन्होंने कहा, “मुझे 40 वर्ष पहले रिसर्च लैब के लिए 6 हज़ार रुपए का ऋण लेना पड़ा था, परंतु आज देश में इनोवेशन तथा स्टार्टअप का सुदृढ़ ढाँचा तैयार हुआ है। विद्यार्थियों को शोध-अनुसंधान के लिए गुजरात में स्टार्टअप्स, इनोवेशन लैब, इनक्यूबेटर, SHODH, मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना जैसी योजनाओं के माध्यम से स्कॉलरशिप मिल रही है।” 
‘एक्सीलेंस इन हायर एजुकेशन’ कार्यक्रम का दीप प्रज्वलित कर उद्घाटन करते उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़

नई शिक्षा नीति अनेक गहन चिंतनों-अनुसंधानों के बाद तैयार हुई समग्र राष्ट्र की शिक्षा नीति 


नई शिक्षा नीति पर उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कहा कि यह शिक्षा नीति केवल किसी दल या सरकार की नहीं, अपितु अनेक गहन चिंतनों-अनुसंधानों के बाद तैयार हुई समग्र राष्ट्र की शिक्षा नीति है। इसके परिणाम आगामी दिवसों में स्पष्ट रूप से देखने को मिलेंगे। इस नीति एवं तकनीकी विकास के कारण देश के विद्यार्थियों को विश्व के किसी भी कोने में रोज़गार के विपुल अवसर उपलब्ध होंगे।

नालंदा, तक्षशिला, विक्रमशिला जैसे विश्वविद्यालयों से विश्व गुरु बना था भारत 


उन्होंने कहा कि भारत पहले विश्व गुरु था। इसका प्रमाण हैं नालंदा, तक्षशिला, विक्रमशिला जैसे विश्वविद्यालय। यहाँ विदेशों से लोग पढ़ने के लिए आते थे। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में तैयार हुई नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन से आज भारत पुन: विश्व गुरु बनने की दिशा में आगे बढ़ रहा है। मोदी ने ग्रामीण क्षेत्रों को ध्यान में लेकर देशव्यापी नई शिक्षा नीति तैयार की है। राज्यपाल ने सभी लोगों का इस नीति का व्यावहारिकतापूर्वक उपयोग कर नए भारत के निर्माण के लिए संकल्पबद्ध होने का आह्वान किया।

आज नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन से पुन: विश्व गुरु बनने की ओर : राज्यपाल आचार्य देवव्रत


राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने ‘एक्सीलेंस इन हायर एजुकेशन’ कार्यक्रम को गुजरात के लिए गौरवशाली दिवस बताते हुए कहा कि तत्कालीन मुख्यमंत्री व वर्तमान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की दृष्टिवान आयोजना के फलस्वरूप आज गुजरात ने सभी क्षेत्रों में नए सोपान पार किए हैं। श्री देवव्रत ने कहा कि आज जब भारत युवाओं का देश बन रहा है, तब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्तमान टेक्नोलॉजी युग में देश के तेज़ विकास के लिए मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया जैसे नवीन आयामों के मंत्रों से युवाओं में नए भारत के निर्माण के लिए प्राण संचारित किए हैं और यह बात समग्र विश्व ने स्वीकार की है तथा इसके परिणामों को हम पिछले छह-सात वर्षों से देख रहे हैं। 

अनेक नूतन आयामों के फलस्वरूप भारत का नाम आज वैश्विक स्तर पर उत्तरोत्तर बढ़ रहा है


प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में आज भारत में हवाई फ़ाइटर प्लेन, हेलीकॉप्टर बनने लगे हैं। जिन सैन्य संसाधनों का हमें आयात करना पड़ता था, उन्हीं का आज भारत निर्यात करने लगा है। यही आत्मनिर्भर भारत का श्रेष्ठ उदाहरण है। इतना ही नहीं, तीव्र गति से चलने वाली स्वदेशी वंदे भारत ट्रेन भी भारत ने शुरू की है और बुलेट ट्रेन के कार्य प्रगति पर हैं। ऐसे अनेक नूतन आयामों के फलस्वरूप भारत का नाम आज वैश्विक स्तर पर उत्तरोत्तर बढ़ रहा है। 
मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल

राष्ट्र-राज्य के विकास की नींव शिक्षा-नॉलेज है : मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल


कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने स्पष्ट मत व्यक्त किया कि राष्ट्र-राज्य के विकास की नींव शिक्षा-नॉलेज है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ज्ञानशक्ति का महिमागान करते हुए गुजरात के एजुकेशन सेक्टर को वर्ल्ड-क्लास बेस्ट फ़ैसिलिटीज़ से सज्ज किया है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने समय के साथ नहीं, बल्कि समय से दो डग आगे चलने वाली अत्याधुनिक फ़ैसिलिटीज़, टेक्नोलॉजी एवं इन्फ़्रास्ट्रक्चर गुजरात के युवाओं को दिए हैं। इस संदर्भ में उन्होंने मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया सहित आत्मनिर्भर भारत की प्रधानमंत्री द्वारा दी गई नवीनतापूर्ण संकल्पना साकार करने में डेमोग्राफिक डिविडेंड समान युवाशक्ति की भूमिका का वर्णन किया। श्री पटेल ने कहा कि प्रधानमंत्री के ऐसे दृष्टिवान आयोजन के परिणामस्वरूप ही इनोवेशन एवं स्टार्टअप में गुजरात देश का अग्रणी राज्य है। राज्य मे 14 हज़ार से अधिक स्टार्टअप सफलतापूर्वक कार्यरत हुए हैं और 180 से अधिक इनक्यूबेटर्स हैं।

विश्वास से विकास के मंत्र को महत्व देने वाली इस सरकार ने शिक्षा सहित सभी क्षेत्रों में उच्चायाम सिद्ध किए हैं : शिक्षा मंत्री जीतूभाई वाघाणी


शिक्षा मंत्री जीतूभाई वाघाणी ने पूज्य गांधीजी तथा लौहपुरुष सरदार पटेल की भूमि पर उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का स्वागत करते हुए कहा कि विश्वास से विकास के मंत्र को महत्व देने वाली इस सरकार ने शिक्षा सहित सभी क्षेत्रों में उच्चायाम सिद्ध किए हैं। राज्य के इस विकासोन्मुखी परिवर्तन में शिक्षा क्षेत्र ने भी अनेक उपलब्धियाँ प्राप्त की हैं। राज्य में हाल में 103 विश्वविद्यालय एवं 3000 से अधिक महाविद्यालय कार्यरत हैं, जिनमें राज्य के ही नहीं, अपितु देश-विदेश से आ रहे विद्यार्थियों को श्रेष्ठ, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा दी जा रही है।
श्री वाघाणी ने कहा कि राज्य के शिक्षा विभाग एवं जीएनएलयू के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित एक्सीलेंस इन हायर एजुकेशन कार्यक्रम के अंतर्गत आज भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के करकमलों से गुजरात की कई परियोजनाओं का ई-शिलान्यास व ई-लोकार्पण किया गया। शिक्षा विभाग ने उच्च एवं तकनीकी शिक्षा परिसर के सभी सरकारी एवं ग्रांट-इन-एड कॉलेजों को वाई-फ़ाई सुविधा के साथ सक्षम किया है। इस कायक्रम के दौरान जगदीप धनखड़ द्वारा वाई-फ़ाई सक्षमता पहल लॉन्च की गई। इसके अलावा विभिन्न यूनिवर्सिटियों के कुलपतियों और प्रोवोस्ट को शिक्षा विभाग की स्टूडेंट स्टार्टअप एण्ड इनोवेशन पॉलिसी 2.0 (एसएसआईपी 2.0)के अंतर्गत राष्ट्रपति के करकमलों से अनुदान वितरित किए गए, जबकि मुख्यमंत्री युवा स्वावलंबन योजना (MYSY) के लाभार्थियों को छात्रवृत्ति एवं SHODH योजनांतर्गत लाभार्थियों को स्टाईपैण्ड का वितरण भी किया गया। इस अवसर पर श्रीमती डॉ. सुदेश धनखड़, राज्य के मुख्य सचिव पंकज कुमार, शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव एस. जे. हैदर, जीएनएलयू के कुलपति  एस. शांताकुमार, विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलपति, स्टार्टअपर्स एवं विद्यार्थी उपस्थित रहे।
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