Young Tulsi Kumari recently bought a high-end smartphone. A resident of Jamshedpur, Jharkhand, the 11-year-old didn’t have the best financial conditions to back her and yet acquired a brand new device. How? She sold mangoes. Read the full story here.https://t.co/qHDhGtcQm4 pic.twitter.com/cr5TfHcaqp
— SheThePeople (@SheThePeople) June 29, 2021
जब 12 आमों के लिए व्यक्ति ने दिये 1.20 लाख रुपए, इस तरह बदली 11 साल की बच्ची की किस्मत
By Loktej
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खराब आर्थिक परिस्थिति के कारण नहीं कर पा रही थी ऑनलाइन पढ़ाई
कहते है की देवदूत किसी भी स्वरूप में आते है। झारखंड की 8 साल की बच्ची के लिए भी एक ग्राहक के रूप में देवदूत बनकर एक व्यक्ति पहुंचा। लोकडाउन के दौरान आम बेच कर पैसे कमा रही इस बच्ची की मुलाक़ात बिजनेसमैन नरेंद्र हेटे से हुई, जिसके बाद उसकी सारी तकलीफ ही दूर हो गई।
विस्तृत जानकारी के अनुसार , तुलसी कुमारी नाम की यह लड़की जमशेदपुर में आम बेच कर पैसे कमा रही थी, बच्ची की आर्थिक हालत सही नहीं थी, जिसके कारण वह फिलहाल पढ़ाई भी नहीं कर पा रही थी। कोरोना के कारण स्कूल तो बंद थे, पर ऑनलाइन पढ़ाई के लिए उसके पास मोबाइल फोन नहीं था। सोशल मीडिया पर उसकी कहानी देखकर स्थानीय कंपनी में वाइस चेयरमैन के तौर पर काम करने वाले नरेंद्र हेटे और उनके पुत्र अमेय हेटे उसकी मदद के लिए आगे आए। दोनों तुलसी की आम की दुकान पर पहुंचे और उसके यहाँ से उन्होंने 12 आम खरीदे, जिसके लिए हर आम के उन्होंने 10 हजार रुपए दिये।
इस तरह से पिता-पुत्र ने तुलसी से 1.20 लाख के आम खरीदे। तुलसी के पिता श्रीमाल ने कहा कि कठिन परिस्थिति में नरेंद्र उनके लिए भगवान बनकर सामने आए है। उनकी इस सहायता से अब आगे पढ़ पाएगी। तुलसी कि माता पद्मिनी देवी भी इस सहायता से काफी भावुक हो गई थी। उन्होंने भी नरेंद्र हेटे का शुक्रिया अदा किया। जब तुलसी से इस बारे में पूछा गया तो उसने बताया कि वह काफी खुश है कि वह आगे पढ़ सकेगी और उसे अब आम नहीं बेचने पड़ेगे।
इस बारे में बात करते हुये अमेय हेटे कहते है की तुलसी ने अपनी इस आर्थिक परिस्थिति के लिए तुलसी किसी को दोष नहीं देती है। उसके बजाय वह उससे लड़ने की कोशिश कर रही है। यही कारण है की उन्होंने उसकी मदद करने की सोची। पर वह उसकी मेहनत का अपमान नहीं करना चाहते थे, इसलिए उन्होंने उसके आम खरीद उसकी सहायता की।