गीतांजलि राव बनीं टाइम ‘किड ऑफ द यर’, जानें क्या हैं उनकी उपलब्धियां
भारतीय मूल की अमेरिकी 15 साल की बच्ची गीतांजलि राव ने ऐसा काम किया जिसके बाद से भारतियों का सीना गर्व से चौड़ा हो गया। दरअसल टाइम मैगज़ीन ने गीतांजलि राव को एक बेहद खास खिताब “किड ऑफ़ द ईयर” से नवाजा है। 5000 नॉमिनेटेड बच्चों के बीच से गीतांजलि को इस अवॉर्ड के लिए चुना गया है। यंग साइंटिस्ट गीतांजलि को ये खिताब टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल दूषित पानी और साइबर बुलीइंग जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर काम करने के लिए दिया गया है। बेहद कम उम्र से, गीतांजलि ने दुनिया में सामाजिक परिवर्तन लाने के लिए साइंस और टेक्नोलॉजी का उपयोग के बारे में सोचना शुरू कर दिया था। कौन हैं गीतांजलि राव? Meet TIME's first-ever Kid of the Year https://t.co/8ExwjanZfE pic.twitter.com/UkPscbp63H — TIME (@TIME) December 3, 2020 आपको बता दे ये नन्ही वैज्ञानिक गीतांजलि राव ‘ध्यान से देखो, दिमाग लगाओ, शोध करो, बनाओ और लोगों तक पहुंचाओ!’ इस मंत्र को ध्यान में रखकर काम करती हैं। गीतांजलि ने सिर्फ 15 साल की उम्र में पानी में लेड यानि सीसे की मात्रा का आसानी से पता लगा सकने वाला सेंसर बनाया था। […]

भारतीय मूल की अमेरिकी 15 साल की बच्ची गीतांजलि राव ने ऐसा काम किया जिसके बाद से भारतियों का सीना गर्व से चौड़ा हो गया। दरअसल टाइम मैगज़ीन ने गीतांजलि राव को एक बेहद खास खिताब “किड ऑफ़ द ईयर” से नवाजा है। 5000 नॉमिनेटेड बच्चों के बीच से गीतांजलि को इस अवॉर्ड के लिए चुना गया है। यंग साइंटिस्ट गीतांजलि को ये खिताब टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल दूषित पानी और साइबर बुलीइंग जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर काम करने के लिए दिया गया है। बेहद कम उम्र से, गीतांजलि ने दुनिया में सामाजिक परिवर्तन लाने के लिए साइंस और टेक्नोलॉजी का उपयोग के बारे में सोचना शुरू कर दिया था।

कौन हैं गीतांजलि राव?
Meet TIME's first-ever Kid of the Year https://t.co/8ExwjanZfE pic.twitter.com/UkPscbp63H
— TIME (@TIME) December 3, 2020
आपको बता दे ये नन्ही वैज्ञानिक गीतांजलि राव ‘ध्यान से देखो, दिमाग लगाओ, शोध करो, बनाओ और लोगों तक पहुंचाओ!’ इस मंत्र को ध्यान में रखकर काम करती हैं। गीतांजलि ने सिर्फ 15 साल की उम्र में पानी में लेड यानि सीसे की मात्रा का आसानी से पता लगा सकने वाला सेंसर बनाया था। गीतांजलि की सबसे बड़ी खासियत ये है कि उन्होंने अपने इनोवेशन में ज्यादा महंगे डिवाइस का इस्तेमाल भी नहीं किया। गीतांजलि ने मोबाइल की तरह दिखने वाले डिवाइस का नाम ‘टेथिस’ रखा है। इस डिवाइस को पानी में सिर्फ कुछ सेकेंड तक डालने के बाद बता देता है कि पानी में लेड की मात्रा कितनी है।

इसके अलावा मई, 2019 में गीतांजलि को टीसीएस इग्नाइट इनोवेशन स्टूडेंट चैलेंज के तहत एक जेनेटिक इंजीनियरिंग का टूल बनाने के लिए हेल्थ पिलर प्राइज से भी सम्मानित किया गया था। ये टूल ओपिऑइड्स एडिक्शन के इलाज में मदद करता है। इससे नशे की लत लगने के शुरूआती स्टेज में ही इसका पता लगाया जा सकता है। साथ ही गीतांजली ने 11 साल की उम्र में राव ने डिस्कवरी एजूकेशन 3M साइंटिस्ट चैलेंज जीता।
इसके अलावा, गीतांजलि ने हाल ही में आर्टिफिशल इंटेलिजेंस से साइबर बुलीइंग को शुरूआत में ही पकड़ सकने वाला एक फ़ोन और वेब टूल ‘काइंडली’ बनाया। टाइम्स से बात करते हुए इसके बारे में गीतांजलि ने बताया, “जैसे आप कोई शब्द टाइप करते हैं, और अगर उसमें ज़रा सा भी बुलीइंग का सेंस आ रहा हो तो ये टूल आपको ऑप्शंस देता है कि आप इसे तुरंत भेजना चाहेंगे या एडिट करना चाहेंगे। इसका मकसद सजा देना नहीं है। एक टीनएजर होने के नाते मैं भी ये समझती हूं कि टीनएजर्स कभी-कभार बहक जाते हैं। ऐसे में ये सजा की जगह आपको दोबारा सोचने का मौका देता है।”
आपको बता दें गीतांजलि राव को 14 दिसंबर की टाइम मैगजिन के कवर पर दिखाया गया। जहाँ गीतांजलि राव एक सफेद लैब कोट में हाथ में मेडल पकड़े हुए दिख रही हैं। टाइम मैगजीन के लिए गीतांजलि का इंटरव्यू एकेडमी अवॉर्ड विजेता एंजेलिना जोली ने लिया है।