मात्र साढ़े चार महीने के बाद हुई थी इस बालक की डिलिवरी, मनाया पहला जन्मदिवस

मात्र साढ़े चार महीने के बाद हुई थी इस बालक की डिलिवरी, मनाया पहला जन्मदिवस

जन्म के समय मात्र 338 ग्राम था वजन, बचने की आशा थी शून्य प्रतिशत

किसी भी माता-पिता के लिए उसकी संतान सबसे अधिक प्यारी होती है। अपनी संतान के जन्म के दौरान माता-पिता की खुशियों का कोई ठिकाना नहीं होता। 9 महीने के इंतजार के बाद जब बालक को पहली बार माता-पिता अपने हाथों में लेते है तो उनके पैर जमीन पर नहीं टिकते। हालांकि कई बार समय के पहले बालक के जन्म हो जाने के कारण बच्चों को कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। समय से पहले होने वाले ऐसे बालकों को प्री-मेच्योर बालक कहते है। आम तौर इस तरह के प्री-मेच्योर बालक माता के गर्भ में सात से आठ महीने रहता है। हालांकि अमेरिका में एक ऐसा प्री-मेच्योर बालक हुआ था, जो की माता के गर्भ में मात्र साढ़े चार महीने ही रहा था। 
अमेरिका में पैदा हुए इस बालक का नाम रिचर्ड स्कॉट विलियम हचिनसन है। जिसका जन्म 139 दिनों में ही हो गया था। जिसके चले उनका नाम गिनीज़ बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज हुआ था। जब रिचर्ड का जन्म हुआ था, तब सभी ने उसके बचने की उम्मीद छोड़ दी थी। जिस समय रिचर्ड का जन्म हुआ था, उसका वजन मात्र 338 ग्राम था और वह उनकी हथेली में भी आ जाता था।  
रिचर्ड के पिता ने कहा कि उनके बालक ने सभी शारीरिक अवरोधों को पार किया है। जन्म के बाद के कुछ सप्ताह तक रिचर्ड के लिए काफी कठिन थे। पर उन्हें विश्वास था कि वह ज़िंदगी की यह जंग जीत जाएगा। माता बैथ ने कहा की रिचर्ड 6 महीने तक अस्पताल में भर्ती था। जिसके बाद वह 20 दिसंबर 2020 को पहली बार घर आया। जब उसकी माता-पिता ने उसे पहली बार उसके झूले में देखा तो उनकी आंखो से आँसू नहीं रुक रहे थे। 
रिचर्ड के माता-पिता का कहना है की उन्हें इस बात की खुशी और आश्चर्य दोनों है की उनके बालक ने एक वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया है। रिचर्ड की कहानी से कई ऐसे माता-पिता को भी सहायता मिलगे, जिनके बालक प्री-मेच्योर हुये है। 
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