चारधाम की यात्रा पर हो रही श्रद्धालुओं की मृत्यु को देखते हुए सरकार ने जारी किया नया दिशानिर्देश

चारधाम की यात्रा पर हो रही श्रद्धालुओं की मृत्यु को देखते हुए सरकार ने जारी किया नया दिशानिर्देश

चारधाम यात्रा के लिए आने वाले 50 वर्ष और उससे अधिक आयु के सभी भक्तों के लिए चिकित्सा जांच अनिवार्य, यात्रा के दौरान मरने वालों की संख्या 106 पहुंच गई

उत्तराखंड में इस साल चारधाम यात्रा में रिकॉर्ड संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं, इस साल अब तक चार धाम में करीब 12 लाख 83 हजार श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंच चुके हैं. इसी के साथ ना सिर्फ दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं का बल्कि यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं की मौत का आंकड़ा भी पिछले साल की तुलना में इस साल बढ़ा है। इस साल यात्रा के दौरान मरने वालों की संख्या 106 पहुंच गई है।
आपको बता दें कि केदारनाथ और बद्रीनाथ धाम में भक्तों की संख्या सबसे अधिक है। अब तक 4 लाख 28 हजार श्रद्धालु बद्रीनाथ धाम और 4 लाख 22 हजार श्रद्धालु केदारनाथ धाम के दर्शन कर चुके हैं। इसके अलावा गंगोत्री धाम में 2 लाख 38 हजार श्रद्धालु आए, जबकि यमुनोत्री धाम मंी 1 लाख 77 हजार श्रद्धालु आए। वहीं सिखों के पवित्र स्थल हेमकुंड साहिब में अब 16,000 श्रद्धालु पहुंच चुके हैं। चारधाम तीर्थयात्रा के दौरान मरने वाले तीर्थयात्रियों में 78 पुरुष और 28 महिलाएं थीं, जिनमें केदारनाथ में 50 तीर्थयात्रियों में सबसे ज्यादा मौतें हुईं।
वहीं भद्रीनाथ में 21, यमुनात्री में 28 और गंगोत्री धाम में 7 हैं। ऊपरी गढ़वाल हिमालयी क्षेत्र के चार धामों बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री में जाने वाले बुजुर्ग तीर्थयात्रियों के स्वास्थ्य को लेकर चिंतित उत्तराखंड सरकार ने नए दिशा-निर्देश जारी किए हैं। चारधाम यात्रा को लेकर उत्तराखंड सरकार ने रविवार को कहा कि चार धाम यात्रा की योजना बना रहे 50 साल से अधिक उम्र के तीर्थयात्रियों को स्वास्थ्य जांच के बाद ही यात्रा शुरू करनी होगी. तीन मई को अक्षय तृतीया से शुरू हुई चारधाम यात्रा के दौरान कई श्रद्धालुओं की मौत और कई अन्य के बीमार होने की खबरें आ रही हैं।
इस बारे में उत्तराखंड स्वास्थ्य महानिदेशक शैलजा भट्ट ने कहा "हमने चारधाम यात्रा के लिए आने वाले 50 वर्ष और उससे अधिक आयु के सभी भक्तों के लिए चिकित्सा जांच अनिवार्य करने का निर्णय लिया है। वर्ष 2019 में 90 से अधिक चारधाम तीर्थयात्रियों की, वर्ष 2018 में 102 और वर्ष 2017 में 112 से अधिक तीर्थयात्रियों की मृत्यु हुई।”